RANCHI: झारखंड मुख्यालय में पदस्थापित एक आईपीएस अधिकारी के भतीजे ने सब-इंस्पेक्टर का सिर फोड़ डाला है। सब-इंस्पेक्टर के सिर में चार टांके लगे हैं। वह ड्यूटी छोड़ घर में आराम कर रहे हैं। सब-इंस्पेक्टर को इतनी चोट आई है कि उन्हें चलने-फिरने में भी दिक्कत हो रही है। उन्हें सिर में चार टांके ही नहीं, बल्कि उनके हाथ-पांव और कान भी जख्मी हो गए हैं। घटना तीन जनवरी की ही है, लेकिन आईपीएस अधिकारी का मामला होने के कारण मामला सामने नहीं आ पाया था। एक कारण यह भी है कि युवक के मानसिक विक्षिप्त होने की वजह से उसपर कोई कानूनी कार्रवाई भी नहीं की गई। अलबत्ता सब-इंस्पेक्टर खुद के पैसे से अस्पताल में अपना इलाज कराए। फिलहाल वह घर पर हैं। कुछ समय के लिए थाना आते हैं और फिर दर्द बढ़ जाने पर घर चले जाते हैं। बताया गया कि इसकी जानकारी जिले के सारे आईपीएस अधिकारियों को है, लेकिन इस मामले में सभी ने चुप्पी साध रखी है।

यह है मामला

जानकारी के मुताबिक, अरगोड़ा इलाके में रह रहे एक आईपीएस का भतीजा मानसिक रूप से विक्षिप्त है। तीन जनवरी को उस पर पागलपन का दौरा पड़ा। वह घर वालों से भी संभल नहीं पा रहा था। ऐसे में आईपीएस ने अरगोड़ा पुलिस से मदद लेनी चाही, ताकि भतीजे को रिनपास या कांके पागलखाना में एडमिट किया जाए। आईपीएस ने खुद अरगोड़ा थाना फोन लगाया। फोन आने पर पुलिस सदल-बल आईपीएस के घर पहुंची। पुलिस को देख आईपीएस का भतीजा और भड़क गया और उसने पुलिसकर्मी पर हमला बोल दिया। उसकी इस हरकत पर अन्य पीछे हट गए। युवक ने भारी चीज से सब-इंस्पेक्टर के सिर पर वार कर दिया। सब-इंस्पेक्टर जब तक संभल पाते, उन पर दनादन प्रहार होता चला गया। इस घटनाक्रम में सब-इंस्पेक्टर का सिर फट गया, जिसे वह जबरन पकड़ कर भर्ती कराने के लिए जा रहे थे, वे खुद अस्पताल पहुंच गए और अपना इलाज करवाऊंगा।

आईपीएस का रिलेटिव और मानसिक मरीज, कैसे हो कानूनी कार्रवाई

हमलावर एक तो आईपीएस का रिश्तेदार, दूसरा मानसिक रोगी। आखिर पुलिस उसके विरुद्ध क्या एक्शन ले। सब- इंस्पेक्टर के भाई भी पुलिस मुख्यालय में ही पोस्टेड हैं। बहरहाल, सब-इंस्पेक्टर को डॉक्टर ने घर में ही आराम करने की सलाह दी है।