आधिकारिक प्रवक्ता के अनुसार अंतिम शाही स्नान के लिए सुबह सवा पांच बजे अखाड़ों के साधु संत गाजेबाजे के साथ संगम तट पर पहुंचे और स्नान करना शुरू किया. अखाड़ों के स्नान के लिए मेला प्रशासन ने समय निर्धारित कर रखा है. इसके अलावा लोगों के लिए 14 घाटों पर स्नान की व्यवस्था की गई है. शाही स्नान के मद्देनजर सुरक्षा व्यवस्था के कडे इंतजाम किए गए हैं. करीब दो करोड़ लोगों के यहां आने की उम्मी है.

6 हजार बसें और 21 ट्रेन चलाई गईं

शाही स्नान के लिए 6 हजार बसों की व्यवस्था की है, जबकि इसी के साथ 21 ट्रेनें चलाई जाएंगी, जो इलाहाबाद के विभिन्न स्टेशनों से चलेंगी. झूंसी, नैनी और सिविल लाइन इलाकों में बनाए गए अस्थाई बस अड्डों को बसों के संचालन के लिए इस्तेमाल किया जाएगा, जबकि ट्रेनें नैनी, प्रयाग और इलाहाबाद स्टेशनों से रवाना होंगी.

CCTV कैमरे रखेंगे नजर

मौनी अमावस्या के स्नान में ढाई करोड़ लोगों ने स्नान किया था, लेकिन बसों और ट्रेनों की कम संख्या के कारण मेला प्रशासन को दिक्कत हुई थी. कुंभ में दुबारा भगदड़ न हो, इसके लिए रेलवे सुरक्षा बल तथा राजकीय रेलवे पुलिस को सतर्क कर दिया गया है. संदिग्ध लोगों की निगरानी के लिए 60 क्लोज सर्किट कैमरे लगाए गए हैं. इलाहाबाद रेलवे स्टेशन पर श्रद्धालुओं पर पुलिस बल का प्रयोग हुआ था. जिस वजह से भगदड़ मच गई थी.

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