- वेडनसडे को जारी किया लेटर, कहा कि 28 दिसम्बर तक सभी स्कूल दें पूरी डिटेल

- डिटेल नहीं देने पर समिति की ओर से लिए गए फैसले के खुद होंगे जिम्मेदार

BAREILLY:

स्कूलों की मनमानी फीस वसूली को लेकर अब डीआईओएस ने सख्ती बरतना शुरू कर दी है। वेडनसडे को सभी सीबीएसई और आईसीएसई स्कूलों को आदेश जारी कर दिए है और कहा है कि सभी स्कूल 28 दिसम्बर से पहले सभी अपने स्कूल का डेटा डीआईओएस ऑफिस में जमा करें। यदि किसी स्कूल ने 28 दिसम्बर तक डेटा नहीं दिया तो समिति की ओर से लिए गए निर्णय का स्कूल स्वयं जिम्मेदार होगा। दरअसल फीस अध्यादेश को लेकर बनी मंडल समिति कमेटी भंग होने के बाद जिला स्तरीय कमेटी का गठन हुआ था। 12 दिसंबर को हुई समिति की पहली बैठक में तय हुआ कि अगली मीटिंग तक सभी स्कूलों की डेटा के साथ पड़ताल हो जानी चाहिए। डीआईओएस ने बताया कि स्कूलों की पूरी तरह से जांच करने के लिए उसमें स्टूडेंट्स की स्ट्रेन्थ जानना बेहद जरूरी है।

इन बिंदुओं पर मांगी रिपोर्ट

- हर क्लास की अलग-अलग फीस

- किस क्लास में कितने स्टूडेंट हैं।

- पिछले साल किस क्लास में कितने स्टूडेंट थे।

- इस समय कितने टीचर तैनात हैं।

- तैनात टीचर्स की सेलरी रिपोर्ट

- वर्ष 2015-16 और 17-18 की ऑडिट रिपोर्ट

- जो स्कूल पिछले साल की ऑडिट रिपोर्ट दे चुके है वो केवल 2017-18 की ही ऑडिट रिपोर्ट ही देंगे

पिछली बैठक के मुख्य बिंदु

- क्रॉस वेरीफिकेशन - डीएम ने कहा था कि अभी तक जिन स्कूलों ने अपने स्कूल का फीस स्ट्रक्चर, टीचर्स की संख्या, उनकी क्वालीफिकेशन अपलोड कर दी है, उन सबको क्रॉस चेक कराया जाए।

- शिकायत वाले स्कूलों को नोटिस- लास्ट मीटिंग में यह भी फैसला हुआ कि जिन स्कूलों की शिकायत थी उनको भी नोटिस जारी किया जाए

- औचक निरीक्षण - डीएम ने कहा कि स्कूलों की ओर दी गई जानकारी की हकीकत जानने के लिए स्कूलों का औचक निरीक्षण भी किया जाए।

- 60 दिन पहले जानकारी - डीएम ने यह भी आदेश दिया कि सभी स्कूलों को नया सेशन शुरू करने से 60 दिन पहले ही फीस की जानकारी देनी होगी।