लोगों की उड़ गई है नींद
Ranchi : हर हाल में आपराधिक वारदातों पर नियंत्रण और अपराधी सलाखों के पीछे होना चाहिए। इससे किसी तरह का कोई समझौता नहीं किया जाएगा। उन्होंने कई एसपी को फटकार लगाते हुए उन्हें अपनी कार्यशैली में सुधार लाने को कहा। डीजीपी डीके पांडेय ने जिलों के एसपी को कहा कि दुष्कर्म, हत्या, छेड़खानी, गृह डकैती और सेंधमारी जैसी वारदातों ने लोगों की नींद उड़ा दी है। लेकिन, पुलिस ऐसे वारदातों का खुलासा करने में विफल साबित हो रही है। अपराधियों की गिरफ्तारी तो दूर उनकी शिनाख्त तक नहीं हो पा रही है। इस तरह की विफलता से पुलिस पर लोगों का भरोसा टूट रहा है। उन्होंने पुलिस अधिकारियों को चेताया कि वे अपराध पर नियंत्रण करें अथवा तबादले के लिए तैयार हो जाएं।

सेंधमारी में तिगुना इजाफा
डीजीपी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान कहा कि पिछले कुछ महीनों के दौरान रेप के केसेज जहां 30 परसेंट बढ़ गए हैं, वहीं सेंधमारी की घटनाओं में तिगुना इजाफा हुआ है। इसके अलावा हत्या और छिनतई जैसे घटनाओं में भी बढ़ोतरी हुई है। लेकिन, इन कांडों में शामिल अपराधियों पर नकेल कसने में पुलिस विफल साबित हो रही है।

30 परसेंट बढ़ा अपराध का ग्राफ
डीजीपी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान रांची रेंज के डीआईजी अमोल वेणुकांत होमकर की भी क्लास ली। उन्होंने कहा कि रांची में आपराधिक वारदात तीस परसेंट तक बढ़ चुका है। मर्डर, डकैती और दुष्कर्म के मामलों में अप्रत्याशित वृद्धि हो रही है। आखिर इसके पीछे क्या वजह है, यह बताएं।

सौंपी अपराध प्रभावित थानों की लिस्ट
वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान सीआईडी ने राज्य के 10 सर्वाधिक अपराध प्रभावित जिलों के थानों को चिन्हित किया है। उन सभी थानों की लिस्ट अपराध के आकड़ों के साथ पुलिस मुख्यालय को सौंपा गया है। इन थाना क्षेत्रों में कड़ाई से पुलिसिंग करने का निर्देश भी दिया गया है।

एसपी, डीएसपी व थानेदार रहे निशाने पर
एडीजी सीआईडी एडीजी प्रशांत सिंह ने बताया कि जिन जिलों में अपराध की घटनाएं बढ़ी हैं, वहां के पुलिस अधिकारियों को हटाया भी जा सकता है। इन अधिकारियों में एसपी, डीएसपी से लेकर थानेदार भी हो सकते हैं। एडीजी के अनुसार जिन अफसरों से क्राइम कंट्रोल नहीं हो पा रहा उन्हें वहां रहने का कोई हक नहीं है।