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PRAYAGRAJ: धन्वंतरि जयंती और धनतेरस का पर्व सोमवार को मनाया जाएगा। इसके साथ ही पांच दिनों तक चलने वाले प्रकाश पर्व का आगाज हो जाएगा। इस बार स्थिर लग्न में दिनभर सोना-चांदी के अलावा गृहस्थी के सामानों की खरीदारी के लिए शुभ मुहूर्त रहेगा। धनतेरस पर पूरे दिन उत्तरा हस्त नक्षत्र, विष्कुंभ योग व वज्र योग का भी संयोग बना रहेगा। पंडित विद्याकांत पांडेय की मानें तो त्रयोदशी तिथि का मान रविवार को मध्य रात्रि 12.51 बजे से लेकर सोमवार को रात 11.17 बजे तक रहेगा। इस दिन स्थिर लग्न में की गई खरीदारी अतिशुभ फलदायक होती है।

त्रयोदशी तिथि में स्थिर लग्न

- सुबह 7.07 बजे से लेकर सुबह 9.15 बजे तक।

- दोपहर एक बजे से लेकर 2.30 बजे तक।

- शाम 5.35 बजे से लेकर 7.30 बजे तक।

 

लक्ष्मी पूजन का शुभ मुहूर्त

धनतेरस के दिन लक्ष्मी पूजन के लिए श्रेष्ठ मुहूर्त प्रदोष काल व वृष लग्न में शाम 5.35 से रात 7.30 बजे तक रहेगा। ज्योतिषाचार्य पंडित विनय कृष्ण तिवारी ने बताया कि इस दिन शुक्र तुला राशि में स्वगृही होकर मालव्य योग के साथ विद्यमान हैं और मंगल अपनी उच्च राशि मकर में विद्यमान रहेंगे। देव गुरु बृहस्पति मंगल की राशि वृश्चिक में विद्यमान रहेंगे जो पूर्ण शुभफल दायक होगा व व्यापारिक वृद्धि व चमक धमक में वृद्धि का कारक साबित होगा।

 

राशि के अनुसार खरीददारी

मेष : चांदी के बर्तन व इलेक्ट्रानिक सामान

वृष : कपड़े व चांदी का कलश

मिथुन : सोने का आभूषण व स्टील का बर्तन

कर्क : चांदी के आभूषण व बर्तन

सिंह : तांबे का बर्तन व चांदी का कलश

कन्या : मरगज की श्रीगणेश की मूर्ति

तुला : सजावटी सामान व कपड़े

वृश्चिक : सोने का आभूषण व इलेक्ट्रानिक सामान

धनु : सोने का आभूषण व तांबे का बर्तन

मकर : तांबे का बर्तन व फुटवियर

कुंभ : सौंदर्य का सामान व वाहन

मीन : सोने का आभूषण व चांदी का बर्तन

 

मंगलवार को हनुमत जयंती

पांच दिवसीय प्रकाश पर्व का श्रीगणेश सोमवार को धनतेरस के साथ शुरू हो जाएगा तो हनुमत जयंती का पावन पर्व मंगलवार को मनाया जाएगा। पं। विद्याकांत पांडेय ने बताया कि मंगलवार पवनसुत हनुमान का ही दिन है। इस वजह से ही जयंती का महत्व कई गुना बढ़ गया है। ऐसा अवसर तीन वर्षो के बाद आया है।