- शासन के आदेश पर बिजली विभाग और जिला प्रशासन की बनाई जाएगी संयुक्त टीम

GORAKHPUR: मुख्यमंत्री के जनपद में बिजली चोरों की अब खैर नहीं होगी। बिजली चोरी करने वाले माफियाओं पर अब सीधे डीएम साहब कार्रवाई करेंगे। बिजली चोरी रोकने के लिए बिजली विभाग स्थानीय जिला प्रशासन की मदद से छह महीने तक बिजली चोरों के खिलाफ अभियान चलाएगा। इसकी शुरुआत के लिए दोनों विभाग की तरफ से कवायद भी शुरू कर दी गई है। शासन के आदेश पर इस अभियान का नेतृत्व डीएम खुद करेंगे। इसके लिए मुख्य सचिव राजीव कुमार ने सभी डीएम और पुलिस अधीक्षकों को निर्देश जारी कर दिया है। इस अभियान में जिला प्रशासन, पुलिस और प्रर्वतन दल की संयुक्त टीमें हिस्सा लेंगी। यह पहला मौका है, जब बिजली चोरी रोकने की सीधी जिम्मेदारी डीएम को दी गई है।

मास रेड करके पकड़ी जाएगी बिजली चोरी

बता दें, शासन के आदेशानुसार, मुख्यमंत्री के जिले में बिजली चोरी के खिलाफ अभियान चलाने के लिए एनर्जी ऑडिट के आधार पर उन इलाकों को चुना जाएगा, जहां बिजली ज्यादा सप्लाई हो रही है, लेकिन राजस्व वसूली कम है। ऐसे अभियानों के लिए महीने की शुरुआत में ही रूपरेखा तैयार करने के निर्देश मुख्य सचिव ने डीएम को दिए हैं। जो संवेदनशील जगहें हैं, वहां पर जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ-साथ मजिस्ट्रेट की भी तैनाती किए जाने के निर्देश मुख्य सचिव ने दिए हैं।

डीएम पर होगा बिजली चोरी रोकने का जिम्मा

जिला प्रशासन से मिली जानकारी के मुताबिक, अभियान चलाए जाने की बड़ी वजह उदय समझौते के मुताबिक, लाइन लॉस कम करने में बिजली विभाग पूरी तरह से नाकाम रहा है। उदय योजना के तहत 2017-18 में लाइन लॉस के लिए लक्ष्य रखा गया था, मगर ऊर्जा विभाग 2017-18 में लाइन के लक्ष्य को बढ़ाने के बजाय घटा दिया है।

वर्जन

जिले में बिजली चोरी के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा। इसके लिए पुलिस बल उपलब्ध करवाया जाएगा। ग्रामीण क्षेत्रों से राजस्व बढ़ाने के लिए कनेक्शन काटने और बिल संशोधन कर बकाया वसूलने का अभियान चलाया जाएगा।

के विजयेंद्र पांडियन, डीएम