- शासन के निर्देशों के बाद भी नहीं मेंटेन किया जा रहा रिकार्ड

- 5-7 मेडिकल स्टोर्स ने ही रिकार्ड किया है मेनटेन

आई कंसर्न

>Meerut । सरकार को 2025 तक टीबी को देश से खत्म करना है। जिला टीबी विभाग लगातार टीबी के नए मरीजों को खोज रहा है। डोर टू डोर सर्वे चल रहा है। मगर मेडिकल स्टोर शासन की इस योजना को ही धता बता रहा है। निर्देशों के बावजूद मेडिकल स्टोर्स ने टीबी के मरीजों का रिकार्ड मेंटेंन करना शुरु नहीं किया है।

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यह है स्थिति

- 4 हजार करीब मेडिकल स्टोर हैं मेरठ में

- 5-7 मेडिकल स्टोर्स ने ही रिकार्ड मेनटेन किया है बीते एक महीने में

- 5 तारीख को हर माह दवा विक्रेताओं को ड्रग इंस्पेक्टर के जरिए स्वास्थ्य विभाग व जिला टीबी विभाग को रिपोर्ट देनी होगी।

- 13 एंटी मेडिसिन निर्धारित की गई हैं टीबी के लिए

- 13 दवाएं एंटी टीबी औषधियों के रूप में शामिल

ये हैं औषधियां

-एथियोनामाइड

-एथमबुटोल हाइड्रोक्लोराइड

-साइक्लोसिरीन

- सोडियम पैरा अमीनो सैलिसिएट

-रिफैम्पसिन

-थियासिटजोन

-लिवोफ्लॉक्सेसिन

-रिफैबुटिन

-कैप्रियोमायसिन

-क्लेफैजिमाइन

-मॉक्सीफ्लाक्सेसिन

- पाइरेजिनामाइड

- आइसोनियाजिड

मरीजों की स्थिति

2018 में अब तक - 151

2017 - 6898

2016- 6698

2015- 6536

2014- 6302

2013- 6349

यह है निर्देश

औषधि एवं प्रसाधन सामग्री नियमावली 1945 के नियम 65 के अनुसार शेड्यूल एच 1 (जिनकी बिक्री बगैर प्रिस्क्रिपशन के नहीं की जा सकती) के तहत आने वाली औषधियों के विक्रय का विवरण फुटकर औषधि विक्रेता द्वारा रजिस्टर में अंकित करना अनिवार्य है। इस दायरे में शहर के लगभग दो हजार रिटेल मेडिकल स्टोर आते हैं। इन मेडिकल स्टोर्स संचालकों को हर हाल में रिकॉर्ड रखना अनिवार्य है।

वर्जन

हमारे पास दो-चार मेडिकल स्टोर्स से ही रिकार्ड आया है। इस संबंध में इन दवा विक्रेताओं को सख्त निर्देश जारी कर दिए गए हैं।

डॉ। एमएस फौजदार, जिला टीबी अधिकारी, मेरठ

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सभी दवा विक्रेताओं को निर्देश दे दिए हैं। रिकार्ड मैंटेन करना ही होगा। जिस स्टोर से टीबी के मरीजों का रिकार्ड नहीं मिलेगा उनका लाइसेंस रद्द कर ि1दया जाएगा।

पवन शाक्य, ड्रग इंस्पेक्टर, मेरठ.

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टीबी के मरीजों का रिकार्ड हर हाल में दवा विक्रेताओं को देना ही है। अभी चेतावनी दी है इसके बाद कार्यवाही की जाएगी।

डॉ। राजकुमार, सीएमअो, मेरठ।

हमें इस बारे में जानकारी नहीं थी। निर्देश मिलने के बाद हमने रिकार्ड रखना शुरु कर दिया है।

रजनीश कौशल, दवा विक्रेता