PATNA : अब पटनाइट्स निपाह वायरस की दहशत से मुक्त हैं। केरल से पूरे देश को टेंशन देने वाले इस वायरस से पटना को 21 दिन बाद राहत मिली है। स्वास्थ्य विभाग ने इस संबंध में जारी एडवाइजरी को वापस ले लिया है। स्वास्थ्य विभाग ने बुधवार की देर शाम प्रदेश के सभी सिविल सर्जन अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी के साथ सभी मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों के अधीक्षकों को पत्र जारी कर इसकी सूचना दी है।

प्रदेश में जारी हुआ था अलर्ट

केरल में फैले निपाह वायरस की दहशत 26 मई को और बढ़ गई जब सरकार ने एडवाइजरी जारी कर प्रदेश में हाई अलर्ट कर दिया था। वायरस को लेकर राज्य सरकार द्वारा एडवाइजरी जारी कर कई जानकारी दी गई थी। इसमें केरल से आने वाले फलों को अच्छी तरह से धोकर कर खाने के साथ अन्य कई सुरक्षा के टिप्स दिए गए थे। भीड़-भाड़ वाले इलाके में जाने से परहेज और चेहरे पर मास्क लगाकर सफर करने को कहा गया था। स्वास्थ्य सेवा के निदेशक प्रमुख डॉ आरडी रंजन ने सभी सिविल सर्जन को निपाह वायरस से बचाव के लिए प्रचार- प्रसार करने को कहा था। बताया गया था कि चमगादड़ और सुअर निपाह वायरस के वाहक हैं। संक्रमित जानवरों के संपर्क में आने अथवा इनके सेवन से निपाह वायरस की चपेट में आने की आशंका जताई गई थी। वायरस से संक्रमित व्यक्ति के 24 से 48 घंटे में कोमा में जाने की बात कही गई थी जिससे लोगों में दहशत बढ़ गई थी। निपाह को लेकर सरकार ने नीरा की बिक्री पर भी रोक लगा दी थी लेकिन अब इसकी बिक्री फिर शुरू हो जाएगी।

-पटना सेफ, नहीं मिला वायरस

स्वास्थ्य विभाग ने निपाह वायरस को लेकर 26 मई को जो एडवाइजरी जारी की थी उसे वापस ले लिया है। एडवाइजरी वापस लेने के बाद अब पटना को सेफ माना जा रहा है। सूत्रों का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा पत्र में साफ तौर पर कहा गया कि केरल सरकार ने 11 जून को दूसरी एडवाइजरी जारी कर बताया था कि पिछले 21 दिन में राज्य में निपाह वायरस का कोई लक्षण नहीं पाया गया है। इसे देखते हुए केरल में घूमने नहीं जाने के संबंध में जारी एडवाइजरी वापस ले ली गई है। बिहार में निपाह वायरस को लेकर जारी हुए एडवाइजरी को वापस ले लिया गया है।