- संस्कृत यूनिवर्सिटी एक्जिक्यूटिव काउंसिल ने लिया डिसीजन

VARANASI: संपूर्णानंद संस्कृत यूनिवर्सिटी के एग्जाम रिकॉर्ड में बड़े पैमाने पर हुई हेराफेरी सिरदर्द बन गई है। इसे देखते हुए एक्जिक्यूटिव काउंसिल ने कंप्यूटर में अवेलेबल रिकॉर्ड से मिलान कर दस सालों का एग्जाम रिकॉर्ड फिर से बनाने का निर्देश दिया है। वीसी प्रो। बिंदा प्रसाद मिश्र की अध्यक्षता में बुधवार को हुई मीटिंग में अब तक एग्जाम रिकॉर्ड का नवीनीकरण न होने पर नाराजगी जताई है। साथ ही अभिलेखों का नवीनीकरण का कार्य तत्काल शुरू कराने का निर्देश दिया है। काउंसिल ने हीलाहवाली करने वाले को दंडित करने की भी वॉर्निग दी। मुख्य भवन का जीर्णोद्धार इंटैक से कराने की स्वीकृति पर भी काउंसिल ने मुहर लगा दी। साथ ही कैंपस में स्थापित अशोक स्तंभ की मरम्मत कराने का डिसीजन भी लिया गया है। इस क्रम में गवर्नमेंट से ग्रांट मांगा जाएगा। इसके अलावा अनुमानित बजट को भी काउंसिल ने हरी झंडी दे दी। वित्त समिति से पहले ही संस्तुति मिल गई थी। परिषद ने कॉमर्स डिपार्टमेंट, काशी विद्यापीठ के प्रो। माताबदल शुक्ल को वित्त समिति का मेंबर मनोनीत किया है। मीटिंग में प्रति कुलपति प्रो। यदुनाथ दुबे, रजिस्ट्रार राकेश कुमार मालपाणी, फाइनेंस ऑफिसर मुकुंदीलाल गुप्त व डिप्टी रजिस्ट्रार आईपी झा प्रेजेंट रहे।