- रोस्टर के इंतजार में लटकी पुराने शहर में फॉगिंग

- डेंगू फैलने के बावजूद नगर निगम नहीं कर रहा कार्रवाई

- वीआईपी कॉलोनियों और चुनिंदा इलाकों में चल रही है फॉगिंग

LUCKNOW: राजधानी पर डेंगू का खतरा मंडरा रहा है। अब तक एक दारोगा समेत आठ लोग इस खतरनाक बीमारी की चपेट में आकर अपनी जान गंवा चुके हैं, जबकि सैकड़ों की संख्या में मरीज अस्पतालों में एडमिट हो चुके हैं। इसके बावजूद नगर निगम डेंगू के मच्छर की रोकथाम में नाकाम साबित हो रहा है। वजह भी साफ है, निगम ने चुनिंदा जगहों को छोड़कर फॉगिंग से तौबा कर ली है। निगम के ऑफिसर्स रोस्टर से पहले फॉगिंग न करने की मजबूरी बता पल्ला झाड़ रहे हैं।

1 सितंबर से शुरू होना है रोस्टर

मच्छरों की रोकथाम के लिए नगर निगम शहर के सभी इलाकों में फॉगिंग कराता है। नगर स्वास्थ्य अधिकारी के अंडर में फॉगिंग कराई जाती है। फॉगिंग के लिये 1 सितंबर से रोस्टर तैयार किया गया है। 1 सितंबर से मच्छर जनित रोगों की रोकथाम के लिए 110 वार्डो में जोन वार फॉगिंग कराई जानी तय है। जोनवार 16 से 21 वार्ड में हर दिन फॉगिंग होगी। सड़कों पर फॉगिंग के लिए बड़ी मशीनें दौड़ती हैं, जबकि गली मोहल्लों में दवा छिड़काव के लिए साइकिल माउंटेड मशीनों का सहारा है। हर वार्ड में एक साइकिल माउंटेड मशीन उपलब्ध है। पर, रोस्टर की शुरुआत न होने की वजह से अब तक पुराने शहर में फॉगिंग नहीं शुरू हो सकी है।

मगर वीआईपी एरिया में फॉगिंग जारी

ऐसा नहीं कि नगर निगम पूरे शहर में फॉगिंग के लिये रोस्टर का इंतजार कर रहा है। वीआईपी इलाकों जैसे कालिदास मार्ग, विक्रमादित्य मार्ग, बटलर पैलेस, ला-प्लास कॉलोनी, दिलकुशा कॉलोनी, राजभवन कॉलोनी में फॉगिंग जारी है। इतना ही नहीं विधानसभा व एनेक्सी के चारों ओर भी फॉगिंग करने में निगम के अधिकारी बेहद दरियादिली दिखा रहे हैं। पर, पुराने शहर जहां पर वास्तव में डेंगू का खतरा मंडरा रहा है और जहां हर साल सैकड़ों की संख्या में लोग इसका शिकार होते हैं, उन इलाकों में फॉगिंग के लिये निगम को रोस्टर का इंतजार है। नगर स्वास्थ्य अधिकारी डॉ। केपी सिंह से जब इस बारे में जानकारी मांगी गई तो उन्होंने बताया कि वर्तमान में 24 मशीनें फॉगिंग में लगी हुई हैं। हालांकि, वे वॉर्डवार ब्योरा देने में नाकाम रहे। इशारा साफ है कि यह मशीनें वीआईपी इलाकों में फॉगिंग में जुटी हुई हैं।