-केजीएमयू का पुराना जर्जर किचन अब शताब्दी में होगा शिफ्ट

-आधुनिक और इकोफ्रेंडल से बनेगी मरीजों की डाइट

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LUCKNOW: किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में मरीजों का खाना अब इकोफ्रेंडली तरीके से सौर ऊर्जा से पकेगा। साथ ही जर्जर हो चुके पुराने भवन में चल रहे किचन को शताब्दी फेज 2 के सातवें तल पर शिफ्ट किया जाएगा। इसके लिए केजीएमयू प्रशासन तैयारी कर रहा है। नई बिल्डिंग में सोलर पैनल लगाने के लिए नेडा के अधिकारी एक बार सर्वे भी कर चुके हैं। जल्द ही इस नई जगह पर किचन में सोलर पॉवर से खाना बनाया जाएगा।

चार हजार बेड का है अस्पताल

केजीएमयू लगभग चार हजार बेड का अस्पताल है। लेकिन करीब दो हजार मरीजों का यहां पर रोजाना खाना बनता है। शेष मरीज या तो खाना लेते नहीं है या फिर उन्हें इसकी जरूरत ही नहीं होती। लास्ट इयर ही इसकी जिम्मेदारी एक नई कंपनी को सौंपने के साथ ही खाने की गुणवत्ता सुधरी है। अत्याधुनिक मशीनों के साथ खाना पकाया जाता है। अब केजीएमयू इस दिशा में एक कदम और आगे बढ़ाने जा रहा है।

यूपी नेडा लगाएगा सिस्टम

केजीएमयू प्रशासन ने किचन में गैस या अन्य ईधन इस्तेमाल करने की बजाए सोलर एनर्जी यूज करने का निर्णय लिया है। इसके तहत मिरर सोलर सिस्टम से वाटर गर्म करके उससे खाना बनाया जाएगा। इसके लिए यूपी नेडा एक प्रोजेक्ट के तहत पैनल और पूरा सिस्टम लगाएगा।

लेकिन पुराना किचन भवन कई दशक पुराना है और इसे ऊपर बनाया नहीं जा सकता। ना ही इसके ऊपर सोलर सिस्टम लगवाया जा सकता है। जबकि शताब्दी फेज 2 में पहले से ही किचन की जगह बनाई गई थी और सभी जरूरी सुविधाएं भी मौजूद हैं। इसे शताब्दी फेज 2 में शिफ्ट करने की तैयारी है। किचन की जिम्मेदारी संभाल रहे अधिकारी इसकी फिजिबिलिटी रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक जल्द ही इसके स्थानांतरण होगा.शताब्दी फेज 2 में ऊंचाई पर लगाने से फायदा होगा यहां सोलर एनर्जी अधिक मिलेगी और पैनल भी कम लगाने पड़ेंगे।

किचन को आधुनिक करने के लिए सोलर सिस्टम लगाने का प्रस्ताव है। शताब्दी फेज 2 में शिफ्ट करने के बाद इसकी प्रक्रिया शुरू की जाएगी।

डॉ। वेद प्रकाश , डीएमएस, केजीएमयू