- मेडिकल में फिट 834 अभ्यर्थी लिखित परीक्षा में हुए शामिल

- नौ के प्रमाण पत्रों की कराई जा रही जांच

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सेना भर्ती में हुई लिखित परीक्षा के बाद एक बार फिर फर्जीवाड़े का जिन्न बोतल से बाहर निकल आया है। इस बार भर्ती प्रक्रिया को आये कैंडीडेट्स में से दस अभ्यर्थियों के स्पो‌र्ट्स प्रमाण पत्रों की जांच में नौ फर्जी निकले। इनकी जांच कराई जा रही है। वहीं एक अभ्यर्थी को सेना खुफिया विंग ने कुश्ती का प्रमाण पत्र फर्जी होने के संदेह में कैंट पुलिस को सौंप दिया। कैंट प्रभारी का कहना है कि इस बाबत अब तक कोई तहरीर नहीं मिली है। फिर भी जांच की जा रही है।

स्टेडियम में हुई परीक्षा

पिछले साल नवंबर में सेना भर्ती रैली के दौरान मेडिकल में फिट गाजीपुर, मऊ, बलिया, आजमगढ़, गोरखपुर व देवरिया के 834 अभ्यर्थियों की रविवार को कैंटोन्मेंट स्थित रणबांकुरे स्टेडियम में करीब दर्जनभर सैन्य अधिकारियों की निगरानी में लिखित परीक्षा आयोजित की गई। सुबह 10 से 11 बजे तक हुई इस परीक्षा में पूरी पारदर्शिता बरती गई। सीसीटीवी कैमरे से परीक्षा स्थल को लैस किया गया था। जनरल ड्यूटी, ट्रेडमैन व टेक्निकल पद पर सभी अभ्यर्थियों को 39 पंक्तियों में बैठाया गया था। 10 अभ्यर्थियों के सामने प्रश्न पत्रों का बक्सा खोलकर उसे निकाला गया। भर्ती निदेशक मनीष धवन के मुताबिक प्रमाण पत्रों की जांच के दौरान पता चला कि दस अभ्यर्थियों ने यूपी रेसलिंग एकेडमी का राज्य स्तरीय प्रमाण पत्र प्रस्तुत किए थे। इनमें से एक ही प्रमाण पत्र एकेडमी ने जारी किया था। अन्य प्रमाण पत्रों की जांच कराई जा रही है। वहीं सेना की खुफिया इकाई ने भी मौके पर इंटरनेट से जांच की तो एक अभ्यर्थी का प्रमाण पत्र सही नहीं मिला। उससे पूछताछ के बाद अगली कार्रवाई के लिए मोहम्मदाबाद मऊ के अभ्यर्थी को कैंट पुलिस को सौंप दिया गया।