यूपी में जितनी भी सीटों पर रुझान आया, उसमें न तो केंद्र पर राज करने वाली कांग्रेस के प्रत्याशी बढ़त बना पाए और न ही सूबे की सत्ता चलाने वाली सपा के कैंडिडेट। अधिकांश सीट्स पर बीजेपी के कैंडिडेट ही बढ़त बनाए। फिर चाहे गाजियाबाद में कांग्रेस के राजबब्बर से आगे चल रही बीजेपी के वीके सिंह हो या फिर अमेठी में राहुल गांधी से आगे स्मृति ईरानी या फिर आजमगढ़ में मुलायम सिंह से आगे रमाकांत यादव हों।