-जनवरी में हुए गोरखपुर जिले में क्राइम का ग्राफ

-पुलिस की तमाम कोशिशों के बाद भी नहीं लगा अंकुश

-माह के पहले दिन से लेकर आखिरी दिन तक मचा रहा ताडंव

GORAKHPUR: पुलिस ने नए साल की शुरुआत को लेकर भले ही तैयारियां बेहद की हो, लेकिन साल का पहला महीना पुलिस के लिए खास नहीं रहा। साल 2018 की शुरुआत से ही बदमाशों ने ताबड़तोड़ घटनाओं को अंजाम देकर पुलिस की नींद उड़ा दी। जनवरी में पुलिस की तमाम कोशिशों के बाद भी चोरी की वारदातों पर किसी तरह का कोई अंकुश नहीं लग सका। वहीं, हत्या, लूट और उच्चकई की घटनाएं भी ताबड़तोड़ हुई। हालांकि इनमें से कई घटनाओं का पुलिस ने पर्दाफाश तो कर दिया, लेकिन घटनाओं पर लगाम लगाने में पुलिस फिलहाल असफल ही साबित हो रही है।

ताबड़तोड़ हुई वारदातें

इतना ही नहीं दक्षिणांचल में हो रही ताबड़तोड़ लूट की वारदातों पर अंकुश लगाने के लिए पुलिस ने इन एरियाज के कई लुटेरों को पकड़कर जेल तो भेजा, बावजूद इसके यहां लूट की वारदातें रूकने का नाम नहीं ले रहीं। आए दिन व्यापारी व सेल्समैन इन लुटेरों के शिकार हो रहे हैं। वहीं, इस महीने उच्चकई की घटनाएं भी बढ़ी नजर आई। एक महीने में चोरों ने जहां 46 चोरी की वारदातों को अंजाम दिया। वहीं, 15 हत्या, 9 लूट और छह उच्चकई की घटनाओं से शहर के लोग में खौफ का माहौल पैदा हो गया।

पुलिस का दावा फेल

हालांकि अपराध पर अंकुश लगाने के लिए पुलिस की ओर से कवायदें तो तमाम की गई, लेकिन इसका जमीनी स्तर पर कितना पालन हुआ, इसकी गवाही खुद जनवरी में हुई आपराधिक घटनाएं दे रही हैं। पुलिस सक्रियता व गश्त का दावा तो किया गया, लेकिन बेखौफ लुटेरों ने जगह-जगह लोगों को लूटते रहे। इस दौरान अगर जिले में कानून व्यवस्था की बात की जाए तो ताबड़तोड़ घटनाओं से नाराज लोगों ने कभी सड़क जाम किया तो कभी दुकानें बंद कर विरोध जताया। तमाम घटनाओं में पुलिस अपने दिए गए समय सीमा के अंदर उसका खुलासा भी नहीं कर सकी।

जनवरी महीने में हुई घटनाएं

- हत्या - 12

- लूट - 9

- उच्चकई- 6

- चोरी - 46