-बारिश शुरू होते ही बच्चों में मच्छरजनित बीमारियों के होने का बढ़ा खतरा

-हेल्थ डिपार्टमेंट हुआ चौकन्ना, मलेरिया विभाग की टीम पहुंचेगी स्कूल, देंगे डेंगू से बचाव का ज्ञान

-मच्छरों से बचाव के लिए स्कूल्स में होगा फोकल स्प्रे का छिड़काव

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बारिश का सीजन शुरू हो चुका है। इसके साथ ही बच्चों में मच्छरजनित बीमारियों के होने का भी खतरा बढ़ गया है। पिछले साल डेंगू के सैकड़ों केस हिस्ट्री को देखते हुए इस बार हेल्थ डिपार्टमेंट इन बीमारियों को लेकर पहले से ही चौकन्ना हो गया है। डेंगू, मलेरिया व चिकनगुनिया की रोकथाम के लिए डिपार्टमेंट ने इस बार स्कूली बच्चों की मदद लेने का प्लान तैयार किया है। जिसके तहत स्कूली बच्चों को इन बीमारियों के प्रति जागरूक कर उनसे भी मदद ली जाएगी। इसके साथ ही विभाग सभी स्कूल्स में फोकल स्प्रे कराएगा ताकि बच्चे मच्छरों के प्रकोप से दूर रहें।

पढ़ाई के बाद होगा छिड़काव

स्कूल्स में बच्चों की छूट्टी हो जाने के बाद फोकल स्प्रे किया जाएगा ताकि बच्चों को अपने स्वास्थ्य को लेकर कोई दिक्कत आने न पाए। अधिकारियों की मानें तो इस स्प्रे का असर 10 से 12 दिन तक रहता है। ऐसे में अगर क्लास में मच्छर पनपते भी हैं तो उनका खात्मा इसके असर से ही हो जाएगा। यह स्प्रे सरकारी और प्राइवेट दोनों ही स्कूल्स में कराया जाएगा।

स्कूल्स में स्पेशल क्लास

बच्चों को मच्छरजनित बीमारियों के बारे में जानकारी देने के लिए स्कूल्स में स्पेशल क्लास लगेगी। इसके तहत मलेरिया विभाग की टीमें जिले के सभी प्राइवेट और सरकारी स्कूल्स में जाकर वहां पढ़ रहे बच्चों को डेंगू, मलेरिया व चिकनगुनिया से बचाव के उपाय बताएंगी। इसके लिए विभाग की ओर से जोन वाइज टीमों का गठन किया जाएगा। जिले के सभी स्कूल्स में बच्चों को यह जानकारी नियमित क्लास चलाकर दी जाएगी। जिससे कि वे अपने घर के लोगों के साथ अन्य को भी साफ-सफाई रखने को लेकर जागरूक कर सकें।

बच्चे भी करेंगे अवेयर

इस अभियान के तहत स्कूलों में क्लास लगने से पहले प्रेयर के दौरान बच्चों को डेंगू-मलेरिया से होन् वाली समस्याओं की जानकारी दी जाएगी। जिसके बाद बच्चे ये जानकारी आम लोगों को शेयर करते हुए उन्हें इन बीमारियों से बचने के लिए डूज और डोंट्ज के बारे में बताएंगे। जिससे हर कोई इन बीमारियों को लेकर अवेयर हो सकें।

पहुंच चुका है डेंगू-मलेरिया

जिले में डेंगू-मलेरिया दस्तक दे चुका है। अभी तक मलेरिया के 55 व डेंगू के 05 से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं। ऐसे में जिला मलेरिया विभाग इसके प्रति गंभीर हो गया है। इस बार डेंगू-मलेरिया को रोकने के लिए स्कूली बच्चों को भी इसमें शामिल किया जा रहा है।

मानसून में मच्छरजनित बीमारियों के फैलने का खतरा बढ़ जाता है। स्कूली बच्चों को इन बीमारियों से बचाने के लिए इस तरह की व्यवस्था की जा रही है।

शरत पांडेय, जिला मलेरिया अधिकारी