वाशिंगटन (पीटीआई)। अमेरिका में मंगलवार को भारत स्थित कॉल सेंटर घोटाले में शामिल होने के आरोप में एक भारतीय नागरिक को आठ साल और नौ महीने जेल की सजा सुनाई गई है। अमेरिकी न्याय विभाग ने इस बात की पुष्टि की। 31 वर्षीय निक्षित कुमार पटेल को 9 जनवरी को आरोपों के लिए दोषी ठहराया था, फ्लोरिडा कोर्ट ने उसे सजा के साथ दो लाख डॉलर जुर्माने के तौर पर भुगतान करने के लिए भी कहा है। अदालत के दस्तावेजों के अनुसार, पटेल ने 2014 से 2016 के बीच इंटरनल रेवेन्यू सर्विस (आईआरएस) अधिकारियों का इस्तेमाल करके अमेरिकी लोगों से पैसा ठगा। इस ठगी के लिए पटेल ने अमेरिका स्थित कुछ साजिशकर्ताओं और भारत के कॉल सेंटरों के साथ मिलकर भी काम किया। बता दें कि आईआरएस, अमेरिका की फेडरल सरकार की राजस्व सेवा है।

पैसा बकाया के नाम पर करते थे ठगी

पटेल ने 2014 से 2016 के बीच अमेरिकी लोगों को यह कहकर गुमराह किया कि उनके पास आईआरएस का पैसा बकाया है और उन्हें गिरफ्तार किये जाने के साथ उनपर जुर्माना लगाया जाएगा, यदि उन्होंने दस्तावेजों के अनुसार तुरंत अपने कथित टैक्सों का भुगतान नहीं किया। लोग डरकर उनकी बातों में आ गए और ठगी का शिकार हो गए। ये ठग पीड़ित लोगों द्वारा खरीदे गए प्रीपेड कार्ड से पैसे निकाल लेते थे। इसके अलावा इन लोगों ने अपने गिरोह में कई गुर्गों को भी हायर कर रखा था, जो पीड़ितों से पैसा वसूलने के लिए बैंक अकाउंट खुलवाते थे। जैसे ही उन अकाउंट में पैसा जमा होता था, वैसे ही वे उससे निकल लेते थे। इस तरह से ठगी के पैसों का लेन-देन आसान और गोपनीय तरीके से चलता रहता था। बता दें कि चार अन्य लोगों को पहले ही इस मामले में अपनी भूमिका के लिए दोषी ठहराया गया है। 25 मार्च को अलेजांद्रो जुआरेज को फेडरल जेल में 15 महीने की सजा सुनाई गई थी। हेमल कुमार शाह, शरविल पटेल और ब्रेंडा डोजियर को फिलहाल सजा का इंतजार है।

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