-घर से लेकर गोदाम तक कायम है चूहों का आतंक

-व्यापारियों को लगा रहे लाखों की चोट, रेड एफएम 93.5 को फोन कर व्यापारियों ने लगाई गुहार

ALLAHABAD: चूहों का आतंक घरों में ही नहीं उससे बाहर भी बड़ा हो चला है। उनके आतंक से न तो खाद्यान्न के गोदाम सुरक्षित हैं और न ही रेलवे का ट्रैक। इनके आने-जाने का एक रास्ता बंद किया जाता है तो यह दूसरा रास्ता अख्तियार कर लेते हैं। इनसे निबटना घर में महिलाओं से लेकर बाहर अफसरों और गोदाम में माल रखने वाले व्यापारियों के लिए वर्तमान में सबसे बड़ी चुनौती है।

यहां तो चूहों ने उड़ा दी है नींद

रेड 9फ्.भ् एफएम पर आरजे गोविंद का शो यू टर्न चल रहा था। फन एंगल पर काम कर रहे आरजे गोविंद ने संसद की कैंटीन में काकरोच और एक प्लेन में चूहा मिलने का जिक्र किया और पब्लिक के सामने सवाल छोड़ा। चूहे से खतरा जैसे सब्जेक्ट पर रिएक्शन आने की संभावना थोड़ी कम थी। लेकिन, हुआ इसका ठीक उलटा। खुल्दाबाद के व्यापारियों की कॉल आई। उन्होंने जो कुछ भी बताया बेहद चौंकाने वाला था। उन्होंने बताया कि चूहे माल को व्यापक नुकसान पहुंचा रहे हैं। इसके बाद रेड 9फ्.भ् एफएम के साथ मिलकर आई नेक्स्ट ने इस पर कैंपेन चलाने का फैसला लिया।

क्या करें, क्या न करें

मुट्ठीगंज के गल्ला व्यवसायी पिंटू और दीपू जायसवाल ने बताया कि चूहों के आतंक से त्रस्त हैं। बताया कि आकार में काफी बड़े चूहों ने गोदाम में बवाल मचा रखा है। बोरी काट देने से हर साल लाखों का नुकसान उठाना पड़ता है। यू टर्न शो करने वाले गोविंद को फोन करके दारागंज की आफरीन ने बताया कि उनकी महंगी ड्रेस चूहों ने सूटकेस में घुसकर कुतर डाली। इसके बाद उन्होंने महंगी दवा खिलाकर चूहे की बैंड बजाई।

रियलिटी चेक में मामला मिला सही

फोन पर आई स्टोरी को आई नेक्स्ट ने क्रास चेक करने का फैसला लिया। आई नेक्स्ट टीम मुंडेरा और बख्शी बांध मंडी पहुंची तो वहां भी व्यापारी चूहों से खौफजदा दिखे। उन्होंने और इंट्रेस्टिंग फैक्ट बताए। कहा कि चूहे उस सामान को बिल्कुल नहीं छूते जो खराब होने के चलते बाहर फेंक दिया गया होता है। वे बोरे में बंद फ्रेश माल को टारगेट करते हैं और कुतरते हैं। इसके चलते सुबह पहले माल की सफाई करानी पड़ती है क्योंकि चूहों का कुतरी बोरियां देखकर ही ग्राहक बिदक जाते हैं।

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चूहों से हम नहीं लड़ सकते

चूहों के आतंक से रिलेटेड बेहद इंट्रेस्टिंग मामला लोकसभा चुनाव के दौरान सामने आया था। मुंडेरा मंडी में ईवीएम रखी गई थीं। इनकी सिक्योरिटी के लिए पैरा मिलिट्री फोर्स तैनात थी। जवानों ने यहां चूहों का आतंक देखा तो साफ कह दिया, हम ईवीएम को नुकसान पहुंचाने वाले बाहरों तत्वों से तो लड़ सकते हैं लेकिन, चूहों से नहीं। यह सुनकर अफसर भी सकते में आ गए थे।

ह्वाट्स एप पर सवाल

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