अब कबड्डी के प्रति बढऩे लगी है दीवानगी
पूरा स्टेडियम वंदे मातरम और भारत माता की जय से गूंज रहा था। चार दिन तक चलने वाले नेशनल कबड्डी मैच में आए कोच और प्लेयर्स ने आई नेक्स्ट के साथ अपनी बातें शेयर कीं। उनका कहना है कि पिछले कुछ सालों से इंडिया में कबड्डी का क्रेज काफी बढ़ा है, जिसका श्रेय पटना को जाता है। इसके अलावा कुछ प्लेयर्स को यहां की लिट्टी-चोखा काफी पसंद आई, तो कुछ पटनाइट्स से इंप्रेस हुए.   

पटना से कबड्डी की पहचान
पिछले कुछ सालों से कबड्डी को इंडिया में प्रमोशन मिल रहा है, जिसका श्रेय पटना को जाता है। यह कहना है एक्स इंडिया कोच बीसी रमेश का। अुर्जन अवार्डी कर्नाटक के रमेश ने बताया कि कबड्डी के प्लेयर्स रूरल एरिया से आते हैं, जिनका फैमली बैकग्राउंड क्रिकेट, टेनिस और बैडमिंटन की तरह मजबूत नहीं होता, लेकिन सभी गेम के अपेक्षा इनमें जोश और जज्बा अधिक होता है। पटना में थर्ड टाइम आए रमेश का कहना है क्रिकेट की तरह कबड्डी में भी टाइम-टाइम पर टूर्नामेंट होते, तो इसे भी इंटरनेशनल पहचान मिल सकती है।

क्रिकेट के बाद सबसे अधिक लवर्स
गुजरात नेशनल इंस्टीच्यूट ऑफ स्पोट्र्स के कोच विजय गुप्ता कबड्डी को क्रिकेट के बाद दूसरे नंबर का गेम मानते हैं। गुप्ता ने कहा कि क्रिकेट के बाद कबड्डी ही ऐसा गेम है, जिसको अधिक संख्या में पब्लिक देखने आती है। अगर इसे भी क्रिकेट की तरह स्पांसर मिल जाए, तो प्लेयर्स इससे अधिक जुडऩे लगेंगे।

तो ओलंपिक गेम में हो जाएगा शामिल
कर्नाटका के कृति कुमार कहते हैं कि पूरे वल्र्ड में आज ईरान कबड्डी के क्षेत्र में सबसे आगे है, जिसकी सबसे बड़ी वजह वहां पर प्लेयर्स को अच्छी फैसिलिटी जैसे, फुड सप्लीमेंटस, मेडिकल एडवाइजर, न्यू टेक्नीक ट्रेनिंग, ड्राई आइटम, जीम आदि मिलता है यही वजह है कि ईरान आज वल्र्ड में कबडडी से अपनी पहचान बना रहा है।

बिहार में कबड्डी को दिया संघ ने पहचान
इन दिनों पटना सहित पूरे बिहार में प्लेयर्स कबडडी के क्षेत्र में कॅरियर बना रहे हैं। कई प्लेयर्स को कबडडी के दौरान गर्वनमेंट जॉब भी मिली है। बिहार कबड््डी संघ के सेक्रेटरी कुमार विजय ने कहा कि  कबड्डी को बढ़ावा देने क लिए 1998 से ही संघ की ओर से टूर्नामेंट आर्गनाइज किया जा रहा है। यही वजह है कि अन्य स्टेट भी यहां से इम्प्रेस होकर टुर्नामेट करवा रहे हैं।

पहले ही मैच में यूपी से हारा बिहार
जननायक कर्पूरी ठाकुर 61वीं सीनियर नेशनल पुरुष व महिला कबड्डी चैंपयिनशिप के इनॉगरल मैच में ही बिहार को झटका लगा। यूपी ने बिहार को हराया। मैच की शुरुआत यूपी, कर्नाटक, हरियाणा, महाराष्ट्र की टीम के साथ हुई। अमेच्योर कबड्डी फेडरेशन की ओर आर्गनाइज मैच में पुरुष वर्ग पूल डी में यूपी ने बिहार को 35-33 से हराया। इस मैच के साथ ही यूपी 16-14 से आगे हो गया है। इससे पहले पाटलिपुत्रा स्पोट्र्स कॉम्लेक्स परिसर स्थित इंडोर हॉल में बिहार कबड्डी संघ के सेक्रेटरी कुमार विजय की अगुवाई में चैम्पियनशिप का इनॉरगेशन हुआ। इस अवसर पर विधान परिषद के सभापति अवधेश नारायण सिंह, इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन के प्रेसीडेंट जनार्दन सिंह गहलौत, डॉ। मृदुल भदौरिया, सीएमडी डॉ। अनिल कुमार शर्मा, बैंक चेयरमैन विजय कुमार सिंह सहित कई लोग मौजूद थे। इनॉरगेशन के दौरान इंडिया से आए प्लेयर्स ने सारे जहां से अच्छा हिन्दुस्तां हमारा सांग के साथ अपने-अपने स्टेट के नेम प्लेट ले रखे थे। मौके पर मार्च पास्ट के अलावा प्लेयर्स को चैंपियनशिप के रूल का पालन करने की शपथ बिहार के कप्तान आनंद कुमार सिंह ने दिलाई।

  बिहार कबड्डी संघ एक नजर में

- 4 जनवरी 1998 बिहार कबड्डी संघ का हुआ गठन

- 1999 फेडरेशन कप आर्गनाइज मोइनुलहक स्टेडियम में

- 2000 27वीं नेशनल सब जूनियर, पटना

- 2003 दरभंगा में 50वीं सीनियर नेशनल कबड्डी चैम्पियनशिप

- 2004 मुजफ्फरपुर में इंडिया व बांग्लादेश के बीच मैच

- 2005 में 5वीं सर्किल कबड्डी चैंपियनशिप, सिटी

- 2006 नेशनल बीच कबड्डी, बोध गया

- 2009 नेशनल सब जूनियर, पटना

- 2012 फस्र्ट महिला वल्र्ड कप पटना।