-टॉपर्स छात्राओं के बदले भेजे दिए कम मा‌र्क्स वाली छात्राओं के आवेदन फार्म

-छात्राओं ने डीआईओएस ऑफिस में दर्ज कराई थीं शिकायतें

-पड़ताल में सही पाई गई शिकायतें, डीआईओएस की सख्ती के बाद भेजे टॉपर्स के नाम

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BAREILLY

कन्या विद्याधन पर प्राइवेट स्कूल्स संचालक डाका डाल रहे हैं। वह टॉपर्स बेटियों की जगह उनसे कम अंक वाली स्टूडेंटस के आवेदन फार्म डीआईओएस ऑफिस भेज रहे हैं। स्कूल्स संचालकों की करतूत उस वक्त उजागर हुई, जब मेधावी बेटियों ने डीआईओएस से घपलेबाजी की कंप्लेन की। धांधली की शिकायत मिलते ही माध्यमिक शिक्षा विभाग हरकत में आया। शिकायतों की पड़ताल के बाद विभाग ने जब सख्ती की, तो स्कूल्स संचालकों ने मेधावी बेटियों के नाम भेज दिए।

320 बेटियों को मिलेगा कन्या विद्याधन

बेटियों की शिक्षा में आर्थिक तंगी बाधा नहीं बने। इसके लिए प्रदेश सरकार ने कन्या विद्याधन योजना लागू किए हुए है। मेधावी छात्राओं 30 हजार रुपए की आर्थिक मदद दी जाती है। इस साल भी सीबीएसई और आईएससी की 320 मेधावी बेटियों को कन्या विद्याधन मिलना है। लेकिन स्कूल्स संचालक इसमें धांधली कर रहे थे। वह टॉपर्स बेटी का नाम गायब कर पंसदीदा स्टूडेंस के नाम कन्या विद्याधन के लिए भेज दिया था। ताकि बाद में उसका बंदरबांट किया जा सके। बेटियों को स्कूल्स संचालकों की करतूत का जब पता चला, तो उन्होंने डीआईओएस ऑफिस में इसकी शिकायत की। रिक्खी सिंह ग‌र्ल्स इंटर कॉलेज की छात्रा विशाखा सिंह ने बताया कि कॉलेज मैनेजमेंट ने फार्म भरने की सूचना नहीं दी। पेपर के माध्यम से जब जानकारी हुई तब उसने कन्या विद्याधन के लिए आवेदन किया। क्योंकि उसके 80 प्रतिशत से अधिक मा‌र्क्स हैं। वहीं, माधव सिंधिया पब्लिक स्कूल की उपासना सिंह का कहना है कि उनका आवेदन फार्म नहीं भरा गया। इस संबंध में जब माधव सिंधिया पब्लिक स्कूल के मैनेजर सौरभ अग्रवाल का कहना है कि छात्रा को फार्म भरने की सूचना पेरेंट्स को दी गई, लेकिन छात्रा के बाहर होने के कारण फार्म नहीं भर सके। छात्रा जब आई, तो उसका फार्म भरकर जमा करा दिया। जिसकी रिसीविंग कॉलेज के पास है। हार्टमन की रिचा अरोरा का आरोप है कि कॉलेज मैनेजमेंट ने उन्हें दरकिनार करते हुए उनसे कम अंक वाली स्टूडेंट्स का फार्म कन्या विद्याधन के लिए भर दिया। उधर, जब कॉलेज का पक्ष जानने के लिए फोन किया गया, तो उन्होंने फोन नहीं उठाया।

इन स्कूल्स ने की धांधली

-हार्टमन कॉलेज

-गुरु रिक्खी सिंह इंटर कॉलेज

-केवी जेआरसी

-सेंट फ्रांसिस

-माधव राव सिंधिया पब्लिक स्कूल

वर्जन

कुछ स्कूल्स संचालकों की शिकायतें आई थीं कि वह मेधावी बेटियों का नाम कन्या विद्याधन के लिए नहीं भेज रहे हैं। इस पर रिकॉर्ड की पड़ताल कराई गई, तो मामला सही निकला। सख्ती की तो उन्होंने बेटियों के नाम भेजे।

मुन्ने अली खां, डीआईओएस