- एनआईए जांच के लिए गृह मंत्रालय भी भेजी गयी रिपोर्ट

- जल्द जारी होगा नोटिफिकेशन, एनआईए करेगी जांच

- पांचों आतंकियों की दस दिन की पुलिस रिमांड भी मंजूर

LUCKNOW: यूपी में सक्रिय आतंकी संगठन आईएस के खुरसान मॉड्यूल की रिपोर्ट देश की सबसे बड़ी खुफिया एजेंसियों रिसर्च एंड अनालिसिस विंग (रॉ) और इंटेलिजेंस ब्यूरो (आईबी) ने तलब कर ली है। इसका उद्देश्य इस गैंग के अंतरराष्ट्रीय आतंकी संगठनों से लिंक और देश विरोधी गतिविधियों के बारे में पता लगाना है। उच्चस्तरीय सूत्रों के मुताबिक, दोनों एजेंसियां रिपोर्ट मिलने के बाद देश में सक्रिय आतंकी संगठनों के मॉड्यूल की गतिविधियों से इसका मिलान कराएंगे। साथ ही देश में आईएस के नेटवर्क की सक्रियता का पता लगाया जाएगा। केंद्र सरकार इस मामले की जांच बेहद गोपनीय तरीके से अंजाम देना चाहती है ताकि बिना किसी शोर-शराबे के आईएस के सारे मॉड्यूल ध्वस्त किए जा सके।

मध्य प्रदेश पुलिस की रिपोर्ट का इंतजार

यूपी पुलिस ने गृह मंत्रालय को सैफुल्लाह के एनकाउंटर और पकड़े गये आतंकियों के प्रोफाइल को एफआईआर की कॉपी के साथ नत्थी करके भेज दिया है। यूपी पुलिस को अब मध्य प्रदेश एटीएस की उस रिपोर्ट का इंतजार है जो उज्जैन में ट्रेन ब्लास्ट के बाद पकड़े गये तीन आतंकियों से पूछताछ के बाद तैयार की गयी है। यूपी पुलिस गृह मंत्रालय के नोटिफिकेशन का भी इंतजार कर रही है जो इस मामले की जांच एनआईए को सुपुर्द करने के लिए जारी किया जाना है। हालांकि अनौपचारिक तौर पर एनआईए ने इस मामले की जांच पूरी तरह शुरू कर दी है और उसके अधिकारी यूपी एटीएस मुख्यालय में डेरा डालकर गिरफ्तार आतंकियों से पूछताछ कर रहे हैं। शुक्रवार को भी एनआईए के अधिकारियों ने एटीएस के साथ आतंकियों के सरगना गौस मोहम्मद और अजहर से गहन पूछताछ की।

दस दिन की रिमांड मंजूर

वहीं अदालत ने एटीएस की गिरफ्त में आए पांचों आतंकियों की दस दिन की पुलिस कस्टडी रिमांड मंजूर कर ली है। इसके बाद पांचों से एटीएस मुख्यालय में कड़ी पूछताछ शुरु की जा चुकी है। पुलिस सूत्रों के मुताबिक मामले की गंभीरता को देखते हुए अदालत ने आतंकियों को हाजिर करने के साथ ही उन्हें पुलिस कस्टडी रिमांड पर दे दिया जो आमतौर पर नहीं होता है। एटीएस पांचों को साथ लेकर कानपुर और लखनऊ में कुछ जगहों पर जल्द ही छापेमारी करने की तैयारी में भी है। मालूम हो कि इस मामले में एटीएस अब तक फैजल, शैलेंद्र सिंह, गौस मोहम्मद, अजहर और फखरे आलम को गिरफ्तार कर चुकी है जबकि सैफुल्लाह पुलिस एनकाउंटर में मारा जा चुका है।