-खर्च का ब्यौरा नहीं देना पड़ा भारी, चुनाव आयोग ने कस दिया शिकंजा

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PATNA: खर्च का ब्यौरा नहीं देने वाले 103 नेताओं की चुनावी गणित बिगड़ गई है. भारत निर्वाचन आयोग ने ऐसे नेताओं के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया है. वह चुनाव में पूरी तरह से अयोग्य घोषित कर दिए गए हैं.

ब्यौरा नहीं देना अपराध

भारत निर्वाचन आयोग ने लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 की धारा 10 के तहत यह कार्रवाई करते हुए इन नेताओं की सूची भी सार्वजनिक कर दी है. यही नहीं, ऐसे नेताओं को पर्चा भरने से रोकने के लिए सभी जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारियों को भी सूची भेजते हुए निर्देश दिया है. जिला निर्वाचन अधिकारियों को संबंधित नेताओं के लोकसभा क्षेत्र व विधानसभा के साथ उनके स्थायी पते की भी सूचना भेजी गई है. अब इस बात का ध्यान रखा जाएगा कि वह नामांकन दाखिल नहीं कर पाएं.

इन पर लगा वैन

जिन नेताओं के चुनाव लड़ने पर रोक लगी है उसमें पटना जिले के कुम्हरार विधानसभा क्षेत्र के सुबोध कुमार, औरंगाबाद के रंजीत कुमार और संजीत चौरसिया, नालंदा से धीरेंद्र कुमार, लालू राम, मुंगेर के सैयद मो.जावेद, गोपालपुर के सुनील कुमार और मो. एहसान, जहानाबाद के राहुल रंजन, मुजफ्फरपुर के मधुर शील, आरा के गोपाल सिंह, पश्चिम चंपारण के मोहन कुमार, सैयद शमीम अख्तर शामिल हैं. इसी तरह राजनगर के भोगेंद्र प्रसाद पासवान, सिकटा के लालगुरद मियां, बाबूबरही की मीना देवी, बिस्फी के गुलाब कुमार साह, अल्पना कुमारी व परवेज हसन, दरौंदा के दीपक कुमार मिश्रा शामिल है.