अधिवक्ता राजेश हत्याकांड में पुलिस नैनी जेल और साउथ मलाका में ढूंढ़ रही लिंक

सोशल साइट्स पर हत्याकांड के कथित शूटर्स के जारी फोटो को एसएसपी ने बताया गलत

ALLAHABAD: अधिवक्ता राजेश श्रीवास्तव हत्याकांड के तत्काल बाद पुलिस ने संदिग्ध शूटर्स की सीसीटीवी फुटेज जारी की और उनके जल्द पकड़े जाने के दावे भी किए गए। लेकिन अब हाल ये है कि हत्याकांड के पांच दिन बाद भी अपडेट के नाम पर पुलिस के पास हत्या के पांच मिनट बाद ही सामने आए सीसीटीवी फुटेज ही हैं और कुछ नहीं। इन फुटेज को लेकर पुलिस पहले शहर, फिर जिले के सभी थानों, फिर प्रदेश और बाद में दूसरे प्रदेशों में भी हो आई है, लेकिन वे कौन थे? कहां से आए थे? किसने बुलाया था? और अब कहां हैं? ये सवाल अब भी अनुत्तरित हैं।

अब कड़ी जोड़ने का प्रयास

हत्याकांड को लेकर लगातार उठ रहे सवालों का जवाब ढूंढ़ने में पुलिस, एसटीएफ और क्राइम ब्रांच की टीम एसएसपी नितिन तिवारी के नेतृत्व में लगी हुई हैं। एक कड़ी से दूसरी कड़ी जोड़ कर जांच प्रक्रिया आगे बढ़ाई जा रही है, लेकिन अब तक जोड़ी गई कड़ी पुलिस को हत्यारों तक नहीं पहुंचा सकी है।

अब नैनी जेल में लिंक की तलाश

इलाहाबाद से लेकर आस-पास के जिलों व दूसरे प्रदेशों में हाथ-पैर मारने के बाद अब पुलिस नैनी सेंट्रल जेल में शूटरों की तलाश कर रही है। जेल से निकले शूटरों ने तो कहीं इस वारदात को अंजाम नहीं दिया है, यह जानने के लिए पुलिस नैनी जेल में छानबीन कर रही है। साथ ही रामबाग से सटे साउथ मलाका में भी शूटर्स की तलाश की जा रही है। यहां रहने वाले दो युवकों को पुलिस ने पूछताछ के लिए उठाया है, जिनका चेहरा फुटेज में शामिल युवकों के चेहरे से मिलता हुआ होने की जानकारी सामने आ रही है।