हर भक्त की कोशिश रथ को छूकर आशीर्वाद लेने की थी. इसके पहले जगन्नाथ गली जनरलगंज में विराजमान बाईजी के मंदिर में जगन्नाथ, बलभद्र, सुभद्रा का फूलों से श्रृंगार किया गया। सुबह मंदिर के पट दर्शन के लिए खोल दिए गए। संजय जायसवाल, गोपाल जायसवाल, गोपाल गुहा, ज्ञानेंद्र विश्नोई, कमलेश, अंबिका प्रसाद अग्रवाल, राकेश, गोविंद शर्मा समेत मंदिर कमेटी के कई मेंबर्स भी मौजूद थे.

श्रृंगार 8 घंटे में

मंडे को बिरजी भगत के मंदिर से रथ यात्रा निकलेगी। श्रृंगार करने में 8 घंटे लगेंगे। कई तरह के फूलों का इस्तेमाल होगा। बेला और विषुन कांडा ज्यादा होंगे। नए कपड़ों के साथ ज्वैलरी भी पहनाई जाएगी। चांदी के सिंहासन पर विराजमान होने के बाद शाम 5 बजे रथ यात्रा निकलेगी। मंदिर के मैनेजर बीके गुप्ता ने बताया कि इस मंदिर का निर्माण 1810 में हुआ था। बिरजी भगत ने उस समय लकड़ी का मंदिर बनवाया था। मंदिर की खास बात यह है कि देश में यह पहला मंदिर है जहां भगवान की मूर्ति अष्टïधातु की है.