कई शहरों में हो चुका लागू
कई शहरों में इसको लागू किया जा चुका है। सीनियर ऑफिसर्स का कहना है कि नवंबर इंड या फिर दिसंबर तक पोर्टेबिलिटी की फैसिलिटी को इलाहाबाद में शुरू कर दिया जाएगा। हालांकि ऑफिसर्स कह रहे हैं कि इसका ऑफिशियल डेट अभी एनाउंस नहीं हुई है.

चाहे जिसको मन है उसको बदल डालिए
एलपीजी पोर्टेबिलिटी के बाद कस्टमर को बार-बार सर्विस के लिए हाथ जोडऩे की झंझट से मुक्ति मिल जाएगी। अगर बुकिंग के बाद भी टाइम में सिलेंडर घर नहीं आ रहा, सिलेंडर से गैस निकली हुई है जैसी प्रॉब्लम होने पर आप सिर्फ डिस्ट्रिब्यूटर ही नहीं बल्कि कंपनी तक को आप बदल सकते है। बेसिकली, इस पोर्टेबिलिटी का सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि एलपीजी कंपनियों द्वारा सर्विस में सुधार करना पड़ जाएगा। क्योंकि एक लिमिट के बाद कस्टमर बर्दाश्त नहीं करेगा.

जो बेहतर होगा उसी के पास कस्टमर होंगे
एलपीजी से जुड़े एक सीनियर ऑफिसर्स बताते हैं कि पोर्टेबिलिटी के बाद मार्केट में एक तरह का कॉम्पिटिशन पैदा हो जाता है। जिसका सीधा फंडा यह है कि जो बेहतर परफार्मेंस कस्टमर को देगी, कस्टमर उसी के पास जाएंगे। वह यह भी बताते हैं कि मोबाइल में भी पोर्टेबिलिटी सर्विस शुरू हुई थी, हजारों कस्टमर भी इधर से उधर गए थे। लेकिन इसका व्यापक असर इसलिए नजर नहीं आया कि कंपनियों द्वारा आईडी कार्ड व अन्य डाक्यूमेंट के नाम पर कस्टमर को उलझा कर रख दिया गया.

यहां पर ऑनलाइन ही भर सकते हैं फार्म
एलपीजी की पोर्टेबिलिटी के लिए कस्टमर ऑनलाइन ही अपनी च्वाइस भर सकते हैं। आनलाइन यह फैसिलिटी मिलने से बड़ा फायदा यह होगा कि कंपनियों पोर्टेबिलिटी न हो पाए, इसके नाम पर कस्टमर को परेशान नहीं कर पाएगी। होम डिलिवरी के नाम पर जो मन चाहा पैसा कस्टमर से लिया जाता है वह भी पोर्टेबिलिटी की फैसिलिटी मिलने के बाद काफी हद तक खत्म हो जाएगा.


इन प्रॉब्लम्स को खत्म करेगी पोर्टेबिलिटी
-वितरक द्वारा बुकिंग के बाद भी महीनों तक सिलेंडर नहीं देने की प्रॉब्लम खत्म होगी।
-कई वितरकों द्वारा होम डिलेवरी से पहले गैस निकाली जाती है यह भी खत्म होगी।
-बुकिंग और होम डिलेवरी को जो टाइम गैप है वह प्रापर तरीके से मैनेज हो पाएगा।
-होम डिलिवरी के नाम पर अवैध वसूली भी पूरी तरह से ठप हो जाएगी.


मोबाइल पोर्टेबिलिटी के कंपेरिजन में आसान होगी
गवर्नमेंट ने मोबाइल में भी पोर्टेबिलिटी की सर्विस दी थी, लेकिन कंपनियों ने नियमों की आड़ में कस्टमर को खूब फंसाया। इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि 40 पैसे बकाया के नाम पर भी कनेक्शन को पोर्टेबल करने से रोक लिया गया था। लेकिन एलपीजी में ऐसी दिक्क्त नहीं आएगी। ऑनलाइन ही फार्म फिल करने के बाद आपकी सिक्योरिटी एमाउंट दूसरे डिस्ट्रिब्यूटर्स को शिफ्ट हो जाएगा। हां, अगर कंपनी ही बदलते हैं तो जरुर थोड़ी सी दौड़ भाग करनी पड़ जाए.