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-पायलट प्रोजेक्ट के तहत शहर से लेकर गांव तक चलेगी फ्री मेंटल हेल्थ ओपीडी
-मंगलवार से हुई शुरुआत, पहले दिन देखे गए 120 मरीज
-बच्चों की भी हो रही काउंसिलिंग, दी जा रही बिहेवियर थेरेपी
ALLAHABAD: डिप्रेशन, चिड़चिड़ापन, उन्माद जैसी बढ़ती बीमारियों से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने बड़ा अभियान शुरू किया है। शहर से लेकर गांव तक ऐसे मरीजों की काउंसिलिंग के लिए फ्री मेंटल हेल्थ ओपीडी चलाई जा रही है। इसकी शुरुआत भी मंगलवार से हुई। इस ओपीडी में मानसिक रोग से ग्रसित बच्चों की काउंसिलिंग और इलाज के लिए विशेष व्यवस्था की गई है। उनसे जुड़ी तमाम बीमारियों का निदान भी इस ओपीडी के जरिए किया जाएगा।
अभी नहीं तो कभी नहीं
स्वास्थ्य विभाग ने लगातार बढ़ती मानसिक बीमारियों पर लगाम लगाने के लिए नेशनल मेंटल हेल्थ प्रोग्राम के तहत पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया है। जानकारी के मुताबिक इस समय सौ में से 17 मरीज किसी न किसी मानसिक समस्या से ग्रसित हैं। इनमें से कुछ के लक्षण सामने होते हैं तो कुछ साइलेंट होते हैं। ऐसे मरीजों को समय रहते काउंसिलिंग और इलाज इस ओपीडी के जरिए ठीक किया जाना जरूरी है। अधिकारियों का कहना है कि शुरुआत में बीमारियों पर लगाम लग जाए तो भविष्य सुधारा जा सकता है।
पहले दिन देखे गए सौ से अधिक मरीज
मंगलवार को फूलपुर और सोरांव में मेंटल हेल्थ ओपीडी का आयोजन किया गया। कुल 120 मरीजों की काउंसिलिंग की गई। इनमें से 29 को इलाज की आवश्यकता पाई गई। सबसे ज्यादा मरीज एंग्जाइटी (घबराहट)) के मिले। कॉल्विन हॉस्पिटल में स्पेशल मेंटल हेल्थ ओपीडी के इंचार्ज डॉ। राकेश पासवान ने बताया कि कुछ मरीजों में उन्माद, चिड़चिड़ापन, अधिक बोलने, डिप्रेशन, ओवर एक्टिव होने की समस्या भी पाई गई। उन्होंने बताया कि कैंप में बच्चों की काउंसिलिंग भी एक्सपर्ट के जरिए कराई गई।
बच्चे में है ये लक्षण तो ओपीडी में जाइए
डॉ। पासवान ने बताया कि मेंटल हेल्थ प्रोग्राम के तहत बच्चों के लिए विशेष एक्सपर्ट्स की व्यवस्था की गई है।
-ऐसे बच्चे जिनमें लर्निग प्राब्लम, एग्जाम फोबिया, मेंटल रिटार्डेशन, बेड पर यूरिन करने, डर, चिड़चिड़ापन आदि की समस्या होती है।
-ओपीडी के तहत बिहेवियर थेरेपी दी जाएगी।
-अगर अधिक समस्या हुई तो इलाज भी कराया जाएगा।
कब कहां लगेगी ओपीडी
कॉल्विन हॉस्पिटल- सप्ताह में तीन दिन
चाका- 15 मार्च
जसरा- 15 मार्च
कोटवा- 17 मार्च
करछना- 17 मार्च
कोरांव- 20 मार्च
कौडि़हार- 22 मार्च
मानसिक मरीजों की दर- कुल 17 फीसदी
इसके तहत मानसिक रोगियों को फ्री काउंसिलिंग व इलाज दिया जाएगा। ऐसी बीमारियां बड़ी समस्या बनकर उभरी हैं। शहर में काल्विन हॉस्पिटल और ग्रामीण इलाकों में स्वास्थ्य उपकेंद्रों तक यह ओपीडी चलाई जाएगी। मंगलवार से इस प्रोजेक्ट की शुरुआत कर दी गई है।
-गिरिजाशंकर बाजपेई, सीएमओ