- तीन बार टेंडर के बाद भी कार्यदायी संस्थाओं ने नहीं ली रुचि

- शहर के एक हिस्से को जाम से निजात दिलाने की कवायद पर ग्रहण

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VARANASI

स्मार्ट सिटी बनारस के एक हिस्से को जाम से निजात मिलने की कवायद पर फिलहाल ग्रहण लग गया है। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत गोदौलिया में प्रस्तावित पहली मल्टीलेवल पार्किंग की योजना टेंडर के फेर में लटक गई है। तीन बार टेंडर होने के बाद भी किसी कार्यदायी संस्था ने काम करने में रुचि नहीं दिखाई। इससे चार महीने बाद भी इसपर काम नहीं शुरू हो सका है।

पांच जगहों पर बनेगी पार्किंग

स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत शहर में पांच जगहों पर मल्टीलेवल पार्किंग बनाने का प्लान है। फ‌र्स्ट फेज में इसके लिए गोदौलिया एरिया का चयन किया गया। इस एरिया का चयन इसलिए किया गया, क्योंकि यहां अत्याधिक भीड़भाड़ रहती है। इस एरिया में टूरिस्ट भी खासी संख्या में आते हैं। यहां स्थित तांगा स्टैंड को हटाकर उसकी जमीन पर मल्टीलेवल पार्किंग बनाने की योजना बनी। फिलहाल यहां निगम का वाहन स्टैंड चल रहा है। फरवरी, मार्च और अप्रैल में क्रमश: तीन बार इसके लिए टेंडर निकाले गए। तीसरी बार एक कम्पनी ने रुचि दिखाई, लेकिन सिंगल टेंडर होने की वजह से नगर निगम ने इसे कैंसिल कर दिया। वहीं चार अन्य जगहों पर पार्किंग बनाने के लिए निगम जगह तलाश रहा है।

पार्किंग की माकूल व्यवस्थ्ा नहीं

दरअसल, छोटे-बड़े वाहनों को पार्क करने की मुकम्मल योजना अब तक फाइलों में ही अटकी हुई है। शहर में पार्किंग की जगह नहीं होना भी जाम लगने का प्रमुख कारण है। सड़क किनारे दोपहिया और चारपहिया आड़े-तिरछे खड़े वाहन जाम के अलावा कई बार हादसे का वजह भी बनते हैं। बड़े हॉस्पिटल, शॉपिंग, मॉल, मल्टीस्टोरी बिल्डिंग व अन्य सार्वजनिक जगहों पर निजी पार्किंग की व्यवस्था है। बावजूद इसके इन जगहों पर सड़क किनारे लोग आड़े-तिरछे वाहन खड़े कर देते हैं। जिससे दिन में कई बार जाम लग जाता है। जिससे मिनटों का समय घंटों में पूरा हाेता है।

एक नजर प्रोजेक्ट पर

- 10.56 करोड़ है प्रोजेक्ट की टोटल लागत

- 03 मंजिली होगी मल्टीलेवल पार्किंग

- 300 छोटे-बड़े वाहनों के खड़े करने की होगी व्यवस्था

- 01 साल है प्रोजेक्ट पूरा करने का निर्धारित समय

- 05 जगहों पर सिटी में बननी है मल्टीलेवल पार्किंग

गोदौलिया में मल्टीलेवल पार्किंग बनाने के लिए जगह चयनित है। इसके निर्माण के लिए टेंडर की प्रक्रिया फिर से पूरी की जा रही है।

रमेश चन्द्र सिंह, संयुक्त नगर आयुक्त