नगर निगम के ओवरहेड टैंक व नलकूपों पर जेनरेटर की व्यवस्था नाकाफी

सिर्फ 6 जेनरेटर का इंतजाम, बिजली कटौती में हो रही पानी की बड़ी किल्लत

BAREILLY:

नगर निगम के लिए डीजल बचाने की चिंता शहर की पानी की किल्लत से बढ़कर है। निगम की संवेदनशीलता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि रोजाना सैकड़ों लीटर डीजल बचाने की कीमत हजारों लोगों की प्यास है। शहर में नलकूपों व ओवरहेड टैंक्स के लिए ऑप्शनल व्यवस्था के तहत जेनरेटर्स लगाने की निगम की व्यवस्था नाकाफी है। ऐसे में गर्मी के दौरान बिजली कटौती के चलते जेनरेटर्स न होने से बंद पड़े नलकूपों व ओवरहेड टैंक्स से पानी की सप्लाई नहीं हो पा रही। जिससे शहर के कई एरियाज में रोजाना ही पानी की किल्लत से परेशान लोग जूझ रहे। वहीं जलकल के अधिकारी मोबाइल जेनरेटर्स पर खर्च होने वाले डीजल का हवाला देकर नए जेनरेटर्स की खरीद से पल्ला झाड़ रहे।

10 लाख पर 6 जेनरेटर्स

नगर निगम सीमा के तहत करीब 10 लाख की आबादी है। इतनी बड़ी आबादी के लिए साफ पीने का पानी मुहैया कराना ही अपने में एक चुनौती है। निगम के पास इतनी बड़ी आबादी के लिए पहले 22 ओवरहेड टैंक व 52 नलकूप थे। अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलेपमेंट स्कीम फॉर स्मॉल एंड मीडियम टाउनशिप, यूआईडीएसएसएमटी के तहत शहर में 17 नए ओवरहेड टैंक व 29 नए नलकूपों का निर्माण हो गया। लेकिन कुल 39 ओवरहेड टैंक व 81 नलकूपों के लिए निगम के जलकल विभाग के पास महज 6 मोबाइल जेनरेटर्स की ही व्यवस्था है। वहीं जलकल विभाग के पास पानी के टैंकर भी महज 12 ही हैं। इनसे भी जरूरतमंद एरिया में पानी की किल्लत पूरी नही हो पाती।

बजट में भूले शहर की प्यास

बरेली में गर्मी के दौरान 12 से 16 घंटे बिजली की कटौती आम बात रही। ऐसे में शहर के नलकूपों व ओवरहेड टैंक से भी पानी की सप्लाई ठप पड़ जाती। इस समस्या को देखते हुए निगम ने पिछले साल 4 नए मोबाइल जेनरेटर्स खरीदे। साथ ही मेयर डॉ। आईएस तोमर ने हर साल बजट में नए मोबाइल जेनरेटर्स खरीद के निर्देश दिए। जिससे धीरे-धीरे जेनरेटर्स की संख्या बढ़े और बिजली कटौती में अलग अलग एरियाज में एक साथ पानी की सप्लाई शुरू कराई जा सके। लेकिन साल 2016-17 के बजट पर जिम्मेदार इस जरूरत को पूरी तरह भूल गए। बजट में नए मोबाइल जेनरेटर्स की खरीद पर प्रस्ताव तक नहीं लगाया गया।

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हमारे पास 6 मोबाइल जेनरेटर्स है। बिजली कटौती के दौरान हम जरूरत पड़ने पर किराए पर जेनरेटर्स ले लेते हैं। रोजाना डीजल की भारी खपत भी बड़ी समस्या है। स्थिति न संभली तो जरूरत पड़ने पर नए मोबाइल जेनरेटर्स की खरीद की जाएगी।

- आरवी राजपूत, एई जलकल