-निगम की इनकम बढ़ेगी, धन की कमी पर पीपीपी मोड पर होगा विचार

-वर्तमान में मौजूद स्कूल व सभी ऑफिस को दी जाएगी पूरी तवज्जो

देहरादून, परेड ग्राउंड स्थित बीजेपी महानगर कार्यालय कैंपस को मल्टीस्टोरी बिल्डिंग बनाए जाने के प्रयास शुरू हो गए हैं. नगर निगम की जमीन होने के कारण निगम प्रशासन ही इसमें इनिसिएटिव ले रहा है. मल्टीस्टोरी प्रोजेक्ट को स्मार्ट सिटी से शुरू करने की तैयारी है, लेकिन धनराशि की कमी सामने आई तो पीपीपी मोड का भी सहारा लिया जा सकता है.

ये ऑफिस हैं यहां

-महानगर बीजेपी कार्यालय.

-धरना स्थल.

-सिटी एजुकेशन ऑफिस.

-हिंदी भवन ऑफिस.

-समाजवादी पार्टी मुख्यालय.

-गवर्नमेंट प्राइमरी व अपर प्राइमरी स्कूल.

चुनाव की घोषणा से पहले निगम में शुरु हुआ मंथन

परेड ग्राउंड में जहां पर धरना स्थल व बीजेपी महानगर कार्यालय है. वह नगर निगम की जमीन है. यहां सभी भवन काफी पुराने हैं, जिनकी छतें भी टपकती रहती हैं. स्मार्ट सिटी के तहत अब शहर के ब्यूटिफिकशन पर जोर दिया जा रहा है. इसी क्रम में अब नगर निगम प्रशासन ने भी महानगर बीजेपी कार्यालय के चारों ओर खाली पड़ी जमीन पर मल्टीस्टोरी बिल्डिंग के निर्माण को लेकर प्रयास शुरू कर दिए हैं. लोकसभा चुनाव के कारण प्रभावी आदर्श आचार संहिता से फिलहाल नगर निगम कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है. बताया जा रहा है कि लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही निगम प्रशासन ने इस पर अपनी सहमति दे दी थी.

कला संस्कृति की झलक दिखेगी

मेयर सुनील उनियाल गामा का कहना है कि लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही इस प्रोजेक्ट पर मंथन शुरू हो गया था. लोकसभा चुनावों की आदर्श आचार संहिता प्रभावी होने के कारण इस पर कुछ बोलना ठीक नहीं होगा. बताया जा रहा है कि निगम अपनी इस जमीन पर मल्टीस्टोरी बिल्डिंग बनाने के मूड में है. खास बात यह है कि इस स्थान पर मौजूद किसी भी ऑफिस को शिफ्ट नहीं किया जाएगा. हर ऑफिस को तवज्जो दी जाएगी. बेसमेंट पर पार्किंग की सुविधा मिलेगी. स्मार्ट सिटी के तहत बजट की व्यवस्था न होने पाने की स्थिति में पीपीपी मोड से भी मदद ली जा सकेगी. बताया जा रहा है कि प्रोजेक्ट के लिए डीपीआर तैयार की जाएगी. मेयर सुनील उनियाल गामा का कहना है कि इस मल्टीस्टोरी बिल्डिंग के तैयार होने ने निगम की आय में इजाफा हो पाएगा. कई ऑफिसों को स्थान मिल पाएगा. जबकि इस बिल्डिंग में राज्य की कलासंस्कृति की झलक भी देखने को मिलेगी.