दस हजार करोड़ रुपए की बनाई गई योजना

नमामि गंगे ट्रस्ट में एक करोड़ लोगों को देना होगा योगदान

बदलेगी गंगा किनारे बसे गांव व शहरों की सूरत

ALLAHABAD: अगले साल होने वाले कुंभ मेले तक गंगा में अविरल और निर्मल जल मिलेगा। केंद्र सरकार मार्च तक गंगा सफाई के सभी प्रोजेक्ट शुरू कर देगी। गंगा के किनारे बसे गांव और शहरों की सूरत भी संवारी जाएगी। इसके लिए केंद्र ने दस हजार करोड़ की योजना बनाई है। जिसमें से तीन हजार करोड़ का जुगाड़ हो चुका है। बाकी पैसा पब्लिक से लिया जाएगा। इसके लिए नमामि गंगे ट्रस्ट बनाया गया है, जिसमें एक करोड़ लोगों को जोड़ा जाना है।

मोदी ने कहा, मत लेना सरकारी पैसा

एनएचएआई की ओर से बुधवार को आयोजित राजमार्ग शिलान्यास समारोह में आए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि गंगा की सफाई में हम बीस हजार करोड़ रुपए खर्च कर रहे हैं। हम चाहते हैं कि गंगा से जुड़े गांव और शहर की सूरत बदले। वहां पौधरोपण, लाइट एंड साउंड शो, गार्डेन, पिकनिक स्पाट सहित आदर्श गांव का विकास किया जाए। हमने दस हजार करोड़ की अलग से योजना बनाई लेकिन पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि इसके लिए सरकार से पैसा मत लेना। यह नेक कार्य जनता के पैसे किया जाए तो बेहतर होगा।

लंदन से सहायता, आगे आए उद्योगपति

गडकरी ने कहा कि शुरू में मैं खुद इंग्लैंड गया। वहां के बड़े घरानों से इस योजना पर चर्चा की। इसके अलावा भारत के कई उद्योगपति भी आगे आए। इस तरह से तीन हजार करोड़ का इंतजाम हो गया। यूपी में 4.5 हजार गांव गंगा किनारे हैं और इसके अलावा हरिद्वार, ऋषिकेष, इलाहाबाद, वाराणसी, मिर्जापुर, कौशांबी, उन्नाव जैसे गंगा किनारे बसे शहरों को डेवलप करने के लिए महेश योगी ट्रस्ट, एचसीएल, अंबानी ग्रुप, श्रीश्रीरविशंकरजी, बाबा रामदेव जैसे उद्योगपति व सामाजिक संस्थाएं आगे आ रही हैं। यह सभी गंगा में जाने वाले प्रदूषण को रोकने के लिए हर संभव प्रयास को पूरा करने का वादा कर रहे हैं।

90 फीसदी तक स्वच्छ होगी गंगा

कहा कि कुंभ से पहले 80 से 90 फीसदी तक गंगा निर्मल व अविरल होगी। जिससे देश विदेश से आने वाले 15 करोड़ श्रद्धालु उसमे स्नान कर पुण्य कमा सकें। साथ ही नमामि गंगा ट्रस्ट में एक करोड़ लोगों से डिजिटल ट्रांसफर के रूप में आर्थिक सहायता ली जाएगी। यह पैसा वह स्वेच्छा से देंगे। जिसका उपयोग गंगा के उद्धार में किया जाएगा। देश के दस शहर जो गंगा में प्रदूषण फैलाते हैं उनमे इलाहाबाद शामिल है। इसलिए नितिन गडकरी ने प्रयागवासियों से गंगा में गंदगी नही फैलाने की अपील की है। कहा कि गंगा किनारे एक करोड़ पेड़ लगाए जाने हैं, जिसमें समाज के प्रत्येक वर्ग की भागीदारी सुनिश्चित होगी।