- नॉवेल्टी बस स्टेशन पर एक वर्ष पहले बनाया गया था काउंटर

- बस स्टेशन पर तीन महीने से अधिक समय से तीनों काउंटर है बंद

>BAREILLY:

पैसेंजर्स की सहूलियत और टिकटों की चोरी रोकने के लिए नॉवेल्टी बस स्टेशन पर एक वर्ष पहले शुरू किया गया टिकट काउंटर धूल फांक रहा है। महीनों से बंद पड़े टिकट बुकिंग काउंटर को दोबारा शुरू करने के लिए अधिकारी भी सुध नहीं ले हैं। जबकि कॉन्टै्रक्ट के मुताबिक संबंधित कंपनी इसके लिए फिक्स अमाउंट ले रही है। काउंटर शुरू न होने से जहां पैसेंजर्स को दिक्कत हो रही है। वहीं दूसरी ओर टिकट चोरी रोकने की परिवहन निगम की योजना को भी झटका लग रहा है।

तीन रूट्स के लिए काउंटर

बस स्टेशन पर तीन टिकट बुकिंग काउंटर की शुरुआत एक साल पहले शुरू की गयी थी। हल्द्वानी, आगरा और दिल्ली रूट्स पर जाने वाली बसों की टिकट की बुकिंग इन काउंटर पर शुरू किया गया था, लेकिन मुख्यालय ने जिस प्राइवेट ट्राइमैक्स कंपनी को कॉन्ट्रैक्ट किया है। उसने तीन महीना पहले ही काउंटर को बंद कर दिया।

दो लाख से ज्यादा का खर्च

तीनों की काउंटर को बनाने में उस समय दो लाख से अधिक का खर्च आया था। काउंटर को एल्युमिनियम की जाली से चारों तरफ से घेरना, सिस्टम बैठाना लगाने आदि वर्क में दो लाख खर्च हुए थे। जबकि पिछले तीन महीने से काउंटर्स धूल फांक रहे हैं लेकिन, उसे दोबारा नहीं शुरू किया जा रहा है। जबकि एक दिन में इन काउंटर से करीब 40 से 50 हजार रुपए तक की टिकट की बुकिंग विभिन्न रूट्स के लिए हाेती थी।

कंपनी फ्री में ले रही पैसा

मुख्यालय ने ट्राइमैक्स कंपनी से पांच साल का कॉन्ट्रैक्ट है। जिसमें परिवहन निगम की बसों को जीपीआरएस से जोड़ना, काउंटर को रन करना सहित अन्य वर्क शामिल थे, लेकिन अधिकारियों की अनदेखी के चलते मुख्यालय को चपत लग रही है। टिकट की बुकिंग के लिए पैसेंजर्स परेशान हो रहे हैं सो अलग। हालांकि इस संबंध में अधिकारियों का कहना है कि ट्राइमैक्स कंपनी के कर्मचारी बसों के अंदर ही टिकट ही बुकिंग करते हैं। क्योंकि, काउंटर पर पैसेंजर्स सीट पर बैठने के चक्कर में बहुत कम जाते हैं। एक दिन में करीब 90 हजार रुपए तक की टिकट की बुकिंग हो रही है। बुकिंग का डाटा कर्मचारी ईवीएम से सॉफ्टवेयर में ट्रांसफर करते हैं।

सॉफ्टवेयर में कुछ प्रॉब्लम्स आने के चलते काउंटर कुछ समय के लिए बंद है। ट्राइमैक्स कंपनी के अधिकारियों से प्रॉब्लम को दूर करके काउंटर को जल्द शुरू करने को कहा गया है।

एसके शर्मा, आरएम, परिवहन निगम