RANCHI : चिकनगुनिया और डेंगू के डंक ने राजधानी को हिलाकर रख दिया है। मरीजों की संख्या भी सब मिलाकर एक हजार के करीब पहुंच गई। इसके बावजूद राजधानी में फॉगिंग नहीं हो रही है। वहीं रांची नगर निगम का बनाया रोस्टर भी फेल हो चुका है। इस वजह से वीआईपी इलाकों को छोड़कर पूरे शहर में मच्छरों का आतंक चरम पर है। स्थिति यह है कि रोस्टर बनने के बाद तो इस महीने गाडि़यां ही नहीं दिखीं। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि कैसे फॉगिंग के नाम पर केवल आईवॉश किया गया।

एक दिन भी रोस्टर से फॉगिंग नहीं

शहर में मच्छर जनित बीमारियों के तेजी से बढ़ रहे प्रभाव को देखते हुए फॉगिंग का प्रभार सिटी मैनेजर को दिया गया। ताकि शहर के सभी इलाकों में रेगुलर फॉगिंग हो सके। इसके बाद सिटी मैनेजर मृत्युंजय पांडेय ने नए वार्डो के हिसाब से रोस्टर भी तैयार किया। इसमें एक-एक दिन में वार्डो में फॉगिंग करने का दिन और समय भी तय था। लेकिन 14 दिन बीत जाने के बाद भी रोस्टर के हिसाब से एक दिन भी फॉगिंग नहीं की गई।

फटकार के बाद खुलती है नींद

हाईकोर्ट ने भी कुछ दिन पहले रांची नगर निगम को फॉगिंग के लिए जमकर फटकार लगाई थी। वहीं अधिकारियों को आदेश दिया था अगर फॉगिंग रेगुलर नहीं होगी तो उन्हें मच्छर वाले इलाकों में ले जाकर छोड़ दिया जाएगा। इसके बाद रांची नगर निगम फॉगिंग को लेकर रेस हो गया था। पर कुछ दिनों के बाद ही फॉगिंग वाली गाडि़यां खराब हो गईं। वहीं एक महीने जुलाई में डेंगू-चिकनगुनिया के कहर के बाद हेल्थ डिपार्टमेंट ने रेगुलर फॉगिंग कराने का आदेश दिया था। कुछ दिनों की फॉगिंग के बाद व्यवस्था फिर ठप हो गई।

वर्जन

हमारी सभी गाडि़यां खराब हैं। केवल तीन गाडि़यों से ही कुछ इलाकों में फॉगिंग हो रही है। गाडि़यों को बनवाने के लिए पा‌र्ट्स मंगाया जाना है। इसके लिए टेंडर की प्रक्रिया चल रही है। पा‌र्ट्स आते ही फॉगिंग की गाडि़यों को दुरुस्त कराया जाएगा। इसके बाद रेगुलर फॉगिंग होगी।

मृत्युंजय पांडेय, इंचार्ज, फॉगिंग