-138 गा‌र्ड्स पर है एमजीएम हॉस्पिटल की सुरक्षा व्यवस्था की जिम्मेदारी

-एक करोड़ 44 लाख रुपए जी अलर्ट एजेंसी और 60 लाख होमगार्ड के वेतन पर होता है खर्च

-एक फरवरी 2016 को एक निजी गार्ड पर हॉस्पिटल में बच्ची से रेप करने का लगा था आरोप

JAMSHEDPUR : महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल की सुरक्षा व्यवस्था ऊपरवाले के भरोसे है। हॉस्पिटल में चोरी की घटनाओं के साथ दलालों व शरारती तत्वों का जमावड़ा कम होने का नाम नहीं ले रहा है। इससे ड्यूटी पर तैनात क्फ्8 सुरक्षा गार्डो की सक्रियता पर सवालिया निशान लग गया है। एमजीएम हॉस्पिटल की सुरक्षा व्यवस्था की जिम्मेदारी क्फ्8 गार्डो पर है। इनमें ब्7 होमगार्ड व 9क् जी अलर्ट सिक्यूरिटी एजेंसी के गार्ड हैं। इनपर सरकार हर साल करीब दो करोड़ चार लाख रुपए खर्च करती है। एक करोड़ ब्ब् लाख रुपए जी अलर्ट एजेंसी और म्0 लाख होमगार्ड के वेतन पर खर्च होता है। इसके बावजूद हॉस्पिटल की सुरक्षा पर खतरा मंडरा रहा है।

एक हॉस्पिटल में दो सुरक्षाकर्मी

एमजीएम हॉस्पिटल में जब कोई घटना होती है तो सुरक्षा कर्मियों पर सवाल खड़े होते हैं। आखिर एक हॉस्पिटल में दो तरह के सुरक्षाकर्मी क्यों हैं? एक फरवरी ख्0क्म् को जब एक निजी गार्ड पर बच्ची से हॉस्पिटल परिसर में दुष्कर्म करने का आरोप लगा तो यह मामला जोर-शोर से उठा। इसे देखते हुए तत्कालीन अधीक्षक ने इसपर सख्ती से कार्रवाई करने की बात कही थी, लेकिन हुआ कुछ नहीं। अब भी हॉस्पिटल में निजी गार्ड तैनात हैं।

निर्देश पर अमल नहीं

एमजीएम सुपरिंटेंडेंट डॉ। विजय शंकर दास ने कुछ दिनों पूर्व सुरक्षा-व्यवस्था को लेकर विशेष रणनीति तैयार की थी और सभी गार्डो को उसपर अमल करने की हिदायत दी थी, लेकिन इसका पालन नहीं हो रहा है। गार्डो का ड्यूटी प्वाइंट निर्धारित किया गया था। होमगार्ड को मेन गेट व इमरजेंसी की जिम्मेदारी सौंपी गई है। वहीं मेडिकल वार्ड, महिला एवं प्रसूति विभाग, हड्डी, ईएनटी, सर्जरी सहित अन्य विभागों की जिम्मेदारी जी अलर्ट एजेंसी को दी गई है।

सुरक्षा-व्यवस्था पर खास जोर दिया जा रहा है। इसके लिए गार्डो को विशेष दिशा-निर्देश दिया गया है। इसमें किसी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इसकी समीक्षा की जा रही है।

-डॉ। विजय शंकर दास, सुपरिंटेंडेंट, एमजीएम

हाल में एमजीएम हॉस्पिटल में हुईं घटनाएं

-क्फ् जून ख्0क्म् : एक युवक की मोटरसाइकिल चोरी होने पर जमकर हंगामा।

-क्8 अप्रैल ख्0क्म् : हॉस्पिटल परिसर से पुलिस व एमजीएम गार्ड को चकमा देकर भागने में एक बाल कैदी सफल।

-क् फरवरी ख्0क्म्: हॉस्पिटल परिसर में निजी गार्ड ने बच्ची से किया दुष्कर्म।

ये हैं गा‌र्ड्स के लिए निर्देश

-शरारती तत्वों की इंट्री पर रोक ताकि चोरी, दुष्कर्म जैसी घटनाओं पर रोक लग सके।

-दलालों की इंट्री पर रोक ताकि मरीज उनके बहकावे में नहीं आएं।

-महिला वार्ड में पुरुषों की इंट्री पर पाबंदी लेकिन स्थिति जस की तस है।

-वार्ड में अटेंडरों की भीड़ को कम करना।

-हॉस्पिटल कैंपस में ऑटो खड़ा करने पर रोक।