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JAMSHEDPUR: लौहनगरी में किराएदारों के बैकग्राउंड की जानकारी न तो मकान मालिक को रहती है और न ही पुलिस को। किराएदारों का पुलिस वेरिफकेशन लंब अरसे से बंद है। खास बात तो यह है कि पुलिस के पास किराएदारों की जानकारी से संबंधित फार्म ही है। इसके चलते लोग वेरिफिकेशन नहीं करा पाते हैं।

तब एक्टिव होती है पुलिस

शहर में जब भी कोई ऐसी वारदात होती है, जिसमें किराएदार की संलिप्ता रहती है तो पुलिस किराएदारों की सारी जानकारी थाना में देने का तुगलकी फरमान सुनाती है। कुछ दिन बाद इस फरमान को ठंडे बस्ते में डाल दिया जाता है। यह धरातल पर नहीं उतर पाता है। इसके चलते किराए पर रह रहे लोग आसानी से क्राइम कर फरार हो जाते हैं। पुलिस को पहचान भी नहीं मिलती है।

कई साल पहले ही आया है नियम

पुलिस वेरिफिकेशन का नियम कई वषरें पहले ही आया है, लेकिन मकान मालिक ही इसकी जरूरत नहीं समझ रहे हैं। किराएदार खुद अपना वेरीफिकेशन कराने तो जाएंगे नहीं। पुलिस अपनी जिम्मेदारी सीधे-सीधे मकान मालिक पर डाल दे रही है। जब भी क्राइम में किसी किराएदार या नौकर का नाम आता है, तो पुलिस के हाथ खाली रह जाते हैं। जबकि जमशेदपुर में आतंकी और कई शार्प शूटर भाड़े में रहकर क्राइम को अंजाम दे चुके हैं। शहर में छोटी घटना हो या बड़ी घटना हो उसे अक्सर किराए के घर में बैठ कर अंजाम दिया जाता है। पूरे देश में सक्त आदेश है कि बिना पुलिस वेरिफिकेशन के मकान को किराए पर ना दें, फिर भी मकान मालिक मकानों को किराए पर देने से पहले वेरिफिकेशन नहीं कराते हैं।

किराएदार के रूप में पकड़ाए आरोपी

-13 अक्टूबर 2014 को एटीएस ने मानगो आजादबस्ती से वर्दमान बम धमाके का आरोपी शीष महमूद को अरेस्ट किया था।

-5 जून 2011 को पुलिस ने सिमी के आतंकी अबू फैजल को गिरफ्तार किया था। वह जाकिरनगर मानगो रोड नंबर-13 वेस्ट में किराए के मकान में रहता था।

-अगस्त 2015 में बागबेड़ा के व्यवसायी रामसकल यादव की हत्या कर दी गई थी। हत्याकांड का मेन शूटर मनोज सिंह मानगो डिमना रोड में काफी दिनों से किराए के मकान में रहता था।

-2015 में दिल्ली की स्पेशल सेल ने अलकायदा के संदिग्ध कटक से अब्दुल रहमान कटकी को गिरफ्तार किया था। इसके बाद जमशेदपुर में मोहम्मद सामी की गिरफ्तारी हुई थी। जमशेदपुर पुलिस ने धतकीडीह और मानगो आजादबस्ती से मसूद अख्तर, नसीम उर्फ राजू को गिरफ्तार किया था। ये धतकीडीह और आजादबस्ती में किराए के मकान में दिनों से थे।

शहर में सारे किराएदारों का पुलिस वेरिफिकेशन कराना सबसे जरूरी है। किसके घर में कौन रह रहा है, इसकी जानकारी पुलिस को होनी चाहिए। मकान मालिक को अपने किराएदार की सारी जानकारी रखनी चाहिए और थानों में भी देनी चाहिए। पुलिस थानों में अगर वेरिफिकेशन फार्म नहीं है तो उसे उपलब्ध कराया जाएगा।

-प्रभात कुमार, सिटी एसपी, जमशेदपुर