विश्व महिला दिवस की पूर्व संध्या पर आई नेक्स्ट ने महिलाओं को उपलब्ध कराई नो वर्क डे आप्च्र्युनिटी

पुरुषों ने स्वेच्छा से खुद किया घर का काम, महिलाओं को दी गई छुट्टी

शाम को आयोजित हुई पार्टी, गिफ्ट भी मिला, पूरा दिन महिलाओं ने किया एंज्वॉय

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ALLAHABAD: उसे देवी का दर्जा दिया जाता है। घर से लेकर बाहर तक वह तमाम रोल प्ले करती हैं। मां से लेकर बहू तक का रोल वे निभाती हैं। परिवार के चक्कर में उन्हें यह एहसास भी कम ही हो पाता है कि उनकी पर्सनल लाइफ भी कुछ है। इसके लिए भी कुछ वक्त निकाला जाना चाहिए। विश्व महिला दिवस की पूर्व संध्या पर आई ने इसी आइडिया पर काम किया और चार परिवार सेलेक्ट किए। परिवार के पुरुषों को राजी किया कि वह खुद घर संभालेंगे और महिलाएं पूरे दिन खाली रहकर इस एक दिन को एंज्वॉय करेंगी। कैसा फील किया इस पहल पर महिलाओं ने? क्या किया उन्होंने पूरे दिन? क्या-क्या किया घर के पुरुषों ने? जानते हैं। इस उम्मींद के साथ आज विश्व महिला दिवस पर पाठक भी अपने परिवार की महिलाओं को कुछ ही ऐसा ही गिफ्ट देंगे।

न दुकान न घर का काम

फैमिली नंबर वन: सुमन केसरवानी

निवासी: बहादुरगंज

बहादुरगंज के रहने वाले ज्वैलरी कारोबारी अंकित केसरवानी अपनी मां सुमन केसरवानी के सुपरविजन में ही बिजनेस के साथ ही परिवार संभालते हैं। 1997 में एक्सीडेंट में पिता की मौत के बाद उनकी मां ने ही पूरा बिजनेस संभाला। आज भी सुमन केसरवानी पूरे परिवार का ख्याल रखने के साथ ही बिजनेस में भी अंकित का पूरा सपोर्ट करती हैं। आईनेक्स्ट ने अंकित से अपनी मां को एक दिन का छुट्टी देने की बात की तो वे झट से राजी हो गए। फुल डे नो वर्क के बाद सुमन ने कहा कि वैसे तो मेरे बच्चे हमेशा मेरा ख्याल रखते हैं। बेटा-बेटी के साथ बहू भी पूरा ध्यान देती हैं। फिर भी मैं हर काम में साथ-साथ लगी रहती हूं। आई नेक्स्ट के साथ आज के दिन को पूरी फैमिली ने मेरे लिए खास नहीं बल्कि बहुत खास बना दिया। पूरे दिन मैने सिर्फ आराम किया। किसी ने कोई काम नहीं करने दिया। मुझे किचन तक में जाने नहीं दिया, और डिश पर डिश आते रहे। बेटा अंकित, बेटी अश्री और बहू तृप्ति ने दिन के साथ ही सुमन केसरवानी की शाम को भी यादगार बनाया। शाम को अचानक सरप्राइज पार्टी हुई। मेज पर केक रखा गया जिसे सुमन केसरवानी ने काटा। फिर तीनों ने मिलकर उन्हें गिफ्ट दिया।

किचन से छुट्टी, खुद संभाली जिम्मेदारी

फैमिली नंबर दो: मंजू केसरवानी

कटघर रोड, मुट्ठीगंज

मुट्ठीगंज में रहने वाले बिजनेसमैन अनिल केसरवानी की पूरे फैमिली का रुटीन सोमवार को चेंज था। सुबह से शाम तक रसोंई में नजर आने वाली और फैमिली मेम्बर्स के हर जरूरत का ख्याल रखने वाली अनिल की पत्नी मंजू सोमवार को पूरे ड्राइंग रूम और बेड रूम के बीच दिखीं। आमतौर पर दिन में अपनी शॉप पर समय देने वाले अनिल और जॉब करने वाले बेटे अंकित व प्रांजल अपने-अपने काम में नहीं बल्कि रसोई में व्यस्त रहे। क्योंकि पूरी फैमिली ने आई नेक्स्ट के साथ नो वर्क डे मनाने और घर की महिलाओं को एक दिन का अवकाश देने का निर्णय जो लिया था। शिवरात्रि का त्यौहार और अवकाश होने से पूरी फैमिली एक साथ रही। बिजनेसमैन अनिल केसरवानी ने जहां बेटे अंकित और प्रांजल के साथ रसोई संभाली वहीं पत्नी और बहू को पूरे दिन कोई काम नहीं करने दिया। पत्नी मंजू और बहू अनन्या ने दिन भर चेस खेला। पॉपकार्न खाते हुए मूवी देखा और पूरे दिन को सेलीब्रेट किया। मंजू ने कहा कि जब से फैमिली में आई हूं, जिम्मेदारी संभाली है, तब से शायद ही कोई दिन ऐसा बीता हो जब फुल डे आराम किया हो। आज का दिन तो मेरे लिए वाकई खास रहा क्योंकि पूरी फैमिली ने फोर्सली मुझे कोई काम नहीं करने दिया। कोई काम करने जाती तो कभी बेटा तो कभी सामने आ जाते। आज मैने अपने पति का दूसरा रूप देखा, जिसमें प्यार के साथ ही सम्मान भी शामिल था। ये सम्मान केवल पत्नी के प्रति नहीं बल्कि नारी वर्ग के प्रति था। मेरे साथ ही बहू को भी कुछ काम नहीं करने दिया गया। आई नेक्स्ट ने तो एक दिन के लिए अचानक से घर के पूरे माहौल को ही चेंज कर दिया।

जब उन्होंने कहा नो वर्क डे

फैमिली नंबर तीन

आरती पालीवाल, दारागंज

पर डे की सुबह जब मैं सोकर उठी और भगवान की पूजा करने के बाद किचन की ओर जाने लगी तो इन्होंने मुझे रोक दिया। एक बारगी तो थोड़ा अजीब सा लगा, मुझे लगा कोई गल्ती हो गई क्या? लेकिन उनके चेहरे पर मुस्कान थी। उन्होंने कहा टू डे इज नो वर्क डे। मैने कहा, ये सुबह-सुबह क्या हो गया? जो अंग्रेजी झाड़ रहे हो। हटो जल्दी से आज शिवरात्रि है, फलाहार बनाना है, घर का सारा काम पड़ा है। उन्होंने कहा आज आराम करो, मैं फलाहार बनाऊंगा। मुझे क्या पता था कि इनके दिमाग में क्या चल रहा है। मैं थोड़ा सकपकाई, कारण पूछा तो उन्होंने खुलासा किया और बताया कि आई नेक्स्ट के साथ मिल कर उन्होंने आज मेरे लिए नो वर्क डे मनाने का निर्णय लिया है। आई नेक्स्ट टीम ने जब राजेंद्र पॉलीवाल की पत्नी आरती पॉलीवाल से दिन भर के अनुभव के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा महाशिवरात्रि पर आज वाकई गजब का उपहार मिला। मुझे नहीं पता था कि ये इतना बढि़यां हलवा बनाते हैं। नौकरी के दौरान ये छुट्टी के दिन भी घर पर नहीं रहते हैं, लेकिन आज काफी दिनों बाद समय दिया। दोपहर में थोड़ी देर के लिए ऑफिस गए भी थे, लेकिन जल्द ही लौट आए। मैने भी बहुत दिनों बाद पूरा दिन आराम किया। टेलीविजन का रिमोट दिन भर मेरे हाथों में ही रहा।

बच्चों ने लौटाया बचपन

फैमिली नंबर चार किरन केसरवानी

कटघर रोड

टेंट का बिजनेस करने वाले कटघर निवासी बिजनेसमैन प्रदीप केसरवानी की फैमिली ने मिलकर परिवार का ख्याल रखने वाली श्रीमती किरन को सरप्राइज पार्टी दिया। आई नेक्स्ट ने जैसे ही महिलाओं को अधिकार दिलाने और उनका सम्मान करने के लिए नो वर्क डे का प्लान रखा, पूरे फैमिली ने इसे स्वीकार किया और साथ में इंज्वाय करने का निर्णय लिया। घर के ही लॉन में छोटी सी पार्टी रखी गई, जिसमें फैमिली मेम्बर्स के साथ ही बच्चे शामिल हुए। दिन भर किचन में नजर आने वाली किरन ने आज बच्चों के साथ कुर्सी दौड़ के साथ ही रस्सा-कसी का गेम भी इंज्वाय किया। आई नेक्स्ट ने उनसे पूरे दिन काम से मुक्त रहने का एक्सपीरिएंस पूछा तो उन्होंने कहा कि आज तो हमने फिर से बचपन को जिया है। तब मां घर का पूरा काम करती थीं, आज वही पति और बच्चों ने किया है। मुझे लगता है कि महिला दिवस का इससे बेहतर गिफ्ट और कुछ तो हो ही नहीं सकता।