- सुधा काउंटर पर दूध, दही के साथ नीरा भी रहेगा उपलब्ध

- तमिलनाडु कृषि विवि के सहयोग से ताड़ी से बनेगा 'नीरा'

PATNA : प्रदेश में जल्द ही ताड़ से बनने वाले उत्पादों की बिक्री शुरू हो जाएगी। इसे दूध और दूध से निर्मित अन्य खाद्य पदार्थो की बिक्री करने वाले सुधा के काउंटरों पर बेचा जाएगा। जिसमें सबसे महत्वपूर्ण ताड़ी से तैयार किया हुआ 'नीरा' होगा, जिसे तमिलनाडु कृषि विश्वविद्यालय के सहयोग से तैयार किया जाएगा। सरकार इस साल अक्टूबर से राज्य में नीरा का उत्पादन शुरू करने जा रही है। गौरतलब है कि राज्य में पूर्ण शराबबंदी लागू होने के बाद ताड़ी की भी खुलेआम बिक्री पर प्रतिबंधित कर दिया गया है। राज्य सरकार ने ताड़ी को मादक पेय में शामिल कर रखा है।

गुड़, पेड़ा व आइसक्रीम भी मिलेगा

इतना ही नहीं, सुधा के काउंटर पर ताड़ के अन्य उत्पाद जैसे गुड़, खोया, सूरन, पेड़ा, जैम, जेली और आइसक्रीम भी मिला करेगी। जबकि ताड़ के पत्तों से चटाई, खिलौने और टोकरी बनाने जैसे लघु व कुटीर उद्योगों को अलग से प्रोत्साहित किया जाएगा। सरकार के इस प्रयास से राज्य के करीब बीस लाख ताड़ी उत्पादकों को को-ऑपरेटिव से जोड़कर उनकी आर्थिक व सामाजिक स्थिति में बदलाव लाया जाएगा।

प्रोसेसिंग प्लांट की होगी स्थापना

ताड़ी उत्पादकों से प्रतिदिन ताड़ी की खरीद ठीक उसी तर्ज पर की जाएगी, जिस तरह राज्य में कॉम्फेड द्वारा को-ऑपरेटिव बनाकर दूध की खरीद की जाती है। ताड़ी को नीरा में बदलने के लिए बिहार कृषि विवि, सबौर और तमिलनाडु कृषि विवि के बीच एक करार भी विगत मई महीने में हो चुका है। दरअसल तमिलनाडु में 'नीरा' की बिक्री एक स्वास्थ्यव‌र्द्धक पेय के रूप में की जाती है। उद्योग विभाग की पहल पर तमिलनाडु कृषि विवि ने बिहार में नीरा समेत ताड़ के अन्य उत्पादों के लिए राज्य में प्रोसेसिंग प्लांट की स्थापना करने जा रही है।