PATNA : बिहार दो सेक्टर हाउसिंग और आईटी सेक्टर में पिछड़ा है। लेकिन अब यहां लोगों को अपार्टमेंट बनाने में परेशानी नहीं होगी। इन दोनों सेक्टर में बिहार को आगे बढ़ाना प्रमुखता में शामिल है। यह बातें डिप्टी सीएम सुशील मोदी ने नगर विकास और आवास विभाग द्वारा एक्जीबिशन रोड स्थित होटल में आयोजित रेरा एक्ट, ख्0क्म् और इसके वेब पोर्टल की लांचिंग के दौरान मंगलवार को कही।

ख्0ख्ख् तक हर को पक्का मकान

कार्यक्रम में बतौर चीफ गेस्ट सुशील मोदी ने कहा कि पीएम का सपना है कि ख्0ख्ख् तक देश के हर किसी को पक्का मकान हो। निम्न-मध्यम आय वर्ग को मकान उपल?ध कराया जा सके। गरीबों को पीएम आवास योजना में भी बिजली, शौचालय और रसोई गैस से जोड़ा गया है। उन्होंने कहा कि यह एक ऐसी इंडस्ट्रीज है कि एक मकान बनाने पर फ्00 से अधिक उद्योग का सामान यूज होता है और लाखों-करोड़ों को रोजगार मिलता है। सुमो ने कहा कि हाउसिंग रेगुलेट लाने का भी उद्देश्य है कि सही बिल्डरों को प्रोत्साहन और ग्राहकों के हितों की रक्षा हो। नोएडा में क्0 हजार से अधिक फ्लैट नियम की अनदेखी कर बनाने से लंबित है। हर कानून के बाद कुछ परेशानी होती है। नोटबंदी, जीएसटी पर थोड़ी परेशानी है, मगर परिणाम दूरगामी है। स्टेट होल्डिंग पर जहां तक होगा, मदद करेंगे। बिल्डिंग बाइलॉज में संशोधन की जरूरत है। गठित समिति में बिल्डर भी शामिल किए जाएंगे। आईटी और हाउसिंग सेक्टर में काफी काम करने की जरूरत है।

एक वर्ग किमी में रहते क्ख्00 लोग

बिहार में जनसंख्या इतनी है कि पटना में एक वर्ग किमी में क्ख्00 लोग रहते हैं। नॉर्थ बिहार में तो क्भ्00-क्म्00 लोग रहते हैं। इस समय जमीन की समस्या है। इंडस्ट्री के बजाए हाउसिंग सेक्टर के लिए जमीन देना अधिक फायदेमंद है। सुमो ने बिल्डरों से कहा कि शहर से कुछ दूर हट कर भी फ्लैट और अपार्टमेंट बनाएं।

सोलर लाइट को किया सजग

डिप्टी सीएम ने कहा कि कजरा और पीरपैंती बिजली यूनिट में सोलर का यूज हो रहा है। इससे ढाई-तीन रुपए प्रति यूनिट बिजली लागत पड़ती है। आप सब अधिक ऊंचाई वाले अपार्टमेंट की बात करते हैं, तो सीवरेज, बिजली, ग्रीनरी, वाटर सप्लाई को भी ध्यान में रखना होगा।

हाउसिंग सेक्टर में रेरा जरूरी

नगर विकास और आवास मंत्री सुरेश कुमार शर्मा ने कहा कि रेरा की जरूरत महसूस की जा रही थी। बिल्डिंग कितनी ऊंची है। भूकंप का भी ख्याल रखना है। पटना को स्मार्ट भी बनाना है। मेयर सीता साहू ने कहा कि पटना में जलजमाव और सेनिटेशन के मामले का स्थायी समाधान निकालना होगा। भवनों के विकास की बात की जाती है लेकिन पार्क नहीं है।

स्मार्ट सिटी में रोड का भी ख्याल रखा जाए। स्लम में स्कूल और अस्पताल भी हो। हाउसिंग और रियल इस्टेट का काला दिन अब ठीक हो जाएगा। एसबीआई के सीजेएम अभिजीत दत्ता ने हाउसिंग लोन के बारे में और पीएम स्कीम की चर्चा की, तो एजीएम अरविंद कुमार ने लोन के बारे में बताया.बिहार बिल्डर एसोसिएशन के चेयरमैन भवेश कुमार ने कहा कि बिहार में हाउसिंग के विकास में रेरा प्रमुख कदम है बिल्डर्स और कस्टमर के लिए। चार वर्ष पूर्व बिहार का विकास दर क्भ् था, जो घटकर अभी क्0 परसेंट है। हाउसिंग सेक्टर में काम करीब-करीब बंद होने के कारण ग्रोथ रेट नीचे आ गया है। बाजार में बिकने वाले फ्00 उद्योग सीमेंट, सेनेटरी,, बालू, लोहा, बिजली उपकरण आदि हम पर निर्भर है। यहां ऊंची इमारतों का होना जरूरी है।

उन्होंने रेरा में कुछ बदलाव की बात कही। भवेश ने कहा कि जिस प्रोजेक्ट का स्ट्रक्चर पूरा है, बेंच भी पूरा मानता है। अब रेरा में रजिस्ट्रेशन होते ही नई समस्या होगी। तीन वर्ष पूर्व नक्शा स्वीकृत। ख्0क्फ् में क्700 बिल्डिंग पर विजिलेंस जांच होने से प्रोजेक्ट लेट है। रेरा में रजिस्ट्रेशन से भी देर होगा। उन्होंने बिल्डरों को एक सेंटर पर रजिस्ट्रेशन की बात स्टेट लेवल पर और लोकल लेवल पर अलग कराने की बात कही।

बिल्डरों की रखी समस्या

बिहार बिल्डर एसोसिएशन के चेयरमैन भवेश कुमार ने कहा कि बिहार में हाउसिंग के विकास में रेरा प्रमुख कदम है बिल्डर्स और कस्टमर के लिए। चार वर्ष पूर्व बिहार का विकास दर क्भ् था, जो घटकर अभी क्0 परसेंट है। हाउसिंग सेक्टर में काम करीब-करीब बंद होने के कारण ग्रोथ रेट नीचे आ गया है। बाजार में बिकने वाले फ्00 उद्योग सीमेंट, सेनेटरी,, बालू, लोहा, बिजली उपकरण आदि हम पर निर्भर है। यहां ऊंची इमारतों का होना जरूरी है।

उन्होंने रेरा में कुछ बदलाव की बात कही। भवेश ने कहा कि जिस प्रोजेक्ट का स्ट्रक्चर पूरा है, बेंच भी पूरा मानता है। अब रेरा में रजिस्ट्रेशन होते ही नई समस्या होगी। तीन वर्ष पूर्व नक्शा स्वीकृत। ख्0क्फ् में क्700 बिल्डिंग पर विजिलेंस जांच होने से प्रोजेक्ट लेट है। रेरा में रजिस्ट्रेशन से भी देर होगा। उन्होंने बिल्डरों को एक सेंटर पर रजिस्ट्रेशन की बात स्टेट लेवल पर और लोकल लेवल पर अलग कराने की बात कही।

छाया रहा बालू का मुद्दा

रेरा में रजिस्ट्रेशन के बाद अलग-अलग रजिस्ट्रेशन नहीं होना चाहिए। पिछले वर्ष एनजीटी के कारण फ्-ब् महीने से बालू नहीं मिला। इस बार भी बालू का संकट है। मजदूरों को काम नहीं मिलेगा और बाद में इनके पलायन करने के बाद बालू मिलेगा, तो मजूदर नहीं मिलेंगे। कार्यक्रम शुरू होने के बाद नगर विकास के प्रधान सचिव चैतन्य प्रसाद ने अपनी बात रखी।

अग्निरोधी यंत्र पर दिया जोर

बिहार होमगार्ड और फायर सर्विस के डीजी पीएन राय ने अग्निरोधी यंत्र पर जोर दिया। गेस्ट ने रेरा पोर्टल का इनॉगरेशन किया। इसके बाद रिसर्च एसोसिएशन बिहार विकास मिशन के प्रत्युष कुमार ने एफोर्डेबल हाउसिंग एंड स्लम रिहैबिलिटेशन एंड रिडेवलपमेंट पर प्रिजेंटेशन दिया। नगर निगम के कमिश्नर अभिषेक सिंह मौजूद थे। वोट ऑफ थैंक्स एसबीआई के डीजीएम सुभाष चंद जोइनवाल ने किया।