-352वें प्रकाश पर्व पर गायघाट गुरुद्वारा बड़ी संगत से निकला नगर कीर्तन

PATNA: जो बोले सो निहाल, सतश्री अकाल, सतनामश्री वाहि गुरु जैसे धार्मिक नारों से शनिवार को अशोक राजपथ भक्तिमय हो गया। मौका था गुरु गो¨वद सिंह के 352वें प्रकाश पर्व पर गायघाट स्थित बड़ी संगत गुरुद्वारा से निकले गुरुग्रंथ साहिब के नगर-कीर्तन का। इसमें शामिल श्रद्धालुओं ने श्रद्धा के साथ दशमेश गुरु गुरु गोविन्द सिंह महाराज के बताए रास्ते पर चलने का संकल्प लिया।

आगे चल रहे थे पंच प्यारे

दोपहर दो बजे गायघाट से निकले नगर-कीर्तन में आगे-आगे तीन हाथी, घोड़े और ऊंट पर श्रद्धालु सवार थे। पीछे एक दर्जन बैंडबाजा, दर्जनभर कीर्तनी जत्था और पालकी के आगे पंच प्यारे हाथ में तलवार लिए चल रहे थे। पूरा मार्ग धार्मिक नारों से गूंज रहा था। देर शाम नगर-कीर्तन का तख्तश्री हरिमंदिर पटना साहिब के दर्शन ड्योढ़ी (हरिमंदिर गली) होते गुरुद्वारा परिसर में प्रवेश हुआ। रात में धार्मिक कार्यक्रम तख्तश्री हरिमंदिर परिसर में निर्मित पंडाल में हुआ।

मार्ग में हुई फूलों की बारिश

गुरु ग्रंथ साहिब की पालकी अशोक राजपथ से गुजर रही थी। पटना नगर निगम के टैंकर से मार्ग में जल का छिड़काव किया जा रहा था। सिख श्रद्धालु नर-नारियों द्वारा भी उक्त मार्ग पर जल छिड़काव कर झाड़ू से मार्ग की सफाई की जा रही थी। पंच प्यारे और पालकी के आगे श्रद्धालु फूलों की वर्षा कर रहे थे। रास्ते में जगह-जगह घर की छतों से नगर कीर्तन पर फूल बरसाए गए। स्थानीय लोगों ने दिल खोलकर सहयोग किया।

गतका पार्टी का जौहर

नगर-कीर्तन के दौरान लक्ष्मीपुर, पंजाब से आए गतका पार्टी के सदस्य लाठी, तलवार, ढाल और घिरनी नचा जौहर दिखा श्रद्धालुओं को अचंभित कर रहे थे। घोड़े और ऊंट पर नगाड़ा पार्टी अपने करतब से आकर्षण का केंद्र बने थे।

हर मोड़ पर स्वागत

गायघाट से नगर कीर्तन निकलने के दौरान अशोक राजपथ के दोनों ओर हजारों की संख्या में लोग नगर कीर्तन देखने को पलकें बिछाए थे। गायघाट से दोपहर दो बजे निकली पालकी आलमगंज थाना के पास तीन बजे पहुंच चुकी थी। इस दौरान भद्रघाट, बड़ी पटन देवी मोड़, अनुमंडल कार्यालय मोड़, पश्चिम दरवाजा, मानस पथ, गुरहट्टा, मच्छरहट्टा, चौक, झाऊगंज समेत अन्य स्थानों पर नगर कीर्तन का स्वागत किया गया। जगह-जगह विभिन्न संगठनों ने प्रतिनिधि मौजूद थे।