मुंबई की प्रतिमूर्ति बनी यहां की शान

इस पंडाल में स्थापित मूर्ति मुम्बई से ही मंगाई गई है जिसे वहीं के कारीगरों ने बनाया है। उत्सव समिति के मीडिया प्रभारी मुसा मुलाणी ने बताया कि हर साल गणपति की मूर्ति यहीं की होती है। क्योंकि इस त्योहार का मुंबई में बड़ा महत्व है, इसलिए उत्सव को खास मुंबइया टच देने की कोशिश है।

मुंबई से आए श्री गणेश के ओवरऑल लुक पर चार चांद लगा रही है बप्पा की ज्वेलरी। समिति के संरक्षक मंडल के हणमंत राव मोड़े ने बताया कि बप्पा का मुकुट, नेकलेस, बाजूबंद, कड़े और पायल समेत सब कुछ अमेरिकन डायमंड से जडि़त हैैं। इससे बप्पा का लुक और भी ज्यादा ब्यूटीफुल हो गया है।

पब्लिक के लिए कई कॉम्पटीशन भी

महाआरती, जागरण और शोभायात्रा के अलावा 13 सितम्बर से पहले 12 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए फैन्सी ड्रेस और डांस कॉम्पटीशन का भी आयोजन होगा। इसके अलावा बड़ों के लिए अंत्याक्षरी, मेहंदी, चित्रकला, जुगलबंदी और हेल्दी कुमकुम कॉम्पटीशन का भी अरेंजमेंट किया गया है।

अवॉर्ड विनिंग कल्चरल टीम होगी स्पेशल अट्रैक्शन

बप्पा के भव्य विसर्जन शोभा यात्रा के दिन महाराष्ट्र के सांगली जिले से आने वाली 50 सदस्यीय टीम कल्चरल प्रोग्राम पेश करेगी। उत्सव समिति के मीडिया प्रभारी मुसा मुलाणी ने बताया कि प्रेसिडेंट अवॉर्ड से नवाजी जा चुकी सांगली की टीम लेजिम नाम का फेमस सिंगिंग एण्ड डांसिग प्रोग्राम करेगी जिसका लुत्फ बनारस की पब्लिक ले सकती है।