- 2025 तक टीबी को खत्म करने का टारगेट

- स्वास्थ्य विभाग को देनी होगी रिपोर्ट

मेरठ। स्वास्थ्य विभाग ने 2025 तक टीबी को जड़ से खत्म करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। प्लान के तहत सभी प्राइवेट अस्पताल और डॉक्टर्स भी नियमित रूप से टीबी पेशेंट का ब्यौरा जिला टीबी विभाग को उपलब्ध कराएंगे। लापरवाही बरतने वाले उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

यह है नियम

हेल्थ डिपार्टमेंट ने प्राइवेट डॉक्टर, प्राइवेट अस्पतालों तथा लैब संचालकों को निर्देश दिए हैं कि सभी संस्थाएं एक रजिस्टर बनाएं, जिसमें मरीज का नाम, पता और मोबाइल नंबर दर्ज होगा। इससे टीबी का इलाज करवा रहे सभी मरीजों का ब्यौरा सरकारी आंकड़ों में दर्ज हो सकेगा। हालांकि ये निर्देश 2012 में आए थे, लेकिन इनका पालन नहीं हो सका। अब प्रमुख सचिव और एमसीआई के निर्देश पर दोबारा से नई गाइड लाइन जारी की गई है। विभाग का मानना है कि इस तरह से टीबी के सभी मरीजों को उचित इलाज मिल पाएगा।

सभी अस्पतालों और डॉक्टर्स को निर्देश जारी कर दिए हैं। अगर किसी ने ब्यौरा देने में आनाकानी या लापरवाही की तो उसके खिलाफ कार्रवाई होगी।

-डॉ। राजकुमार, सीएमओ