RANCHI: मई दिवस पर झारखंड के मजदूरों ने अपनी मजदूरी को लेकर अनोखा विरोध करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पांच रुपए वापस कर दिए हैं। प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में इन मजदूरों ने कहा है कि माननीय प्रधानमंत्री जी इस वर्ष आपकी सरकार ने नरेगा में हमारी मजदूरी को पांच रुपए ही बढ़ाया है। हम बहुत भाग्यशाली हैं। चूंकि देश के क्7 राज्यों में नरेगा मजदूरी तो पांच रुपए तक भी नहीं बढ़ाई गई है। लगता है कि ओडि़शा के मजदूर काफी संपन्न हो गए हैं। क्योंकि उनकी मजदूरी तो एक पैसा भी नहीं बढ़ी है। हम इतनी कम बढ़ी हुई मजदूरी को लेकर चिंतित हैं। हमें लगता है कि आपकी सरकार के पास पैसे की कमी हो रही है। वरना नरेगा की मजदूरी कम से कम राज्य की न्यूनतम मजदूरी तक तो जरूर बढ़ती।

न्यूनतम मजदूरी ख्क्ख् रुपए

इस समय जब देश का एक तिहाई भाग सुखाड़ की चपेट में है। प्रधानमंत्री पर व्यंग करते हुए इन मजदूरों ने कहा कि प्रधानमंत्री जी अगर आपको जानकारी नहीं है, तो बता देते हैं कि झारखंड में अभी न्यूनतम मजदूरी ख्क्ख् रुपए है। हमें लगता है कि हमसे ज्यादा आपको इन पांच रुपए की जरूरत है।

कर्मचारियों को रखें खुश

आखिर आपकी सरकार के खर्च भी तो इतने सारे हैं। सातवें वेतन आयोग की अनुशंसाओं के अनुसार, अब सरकारी कर्मचारियों के वेतन और पेंशन पर खर्च एक लाख करोड़ रुपए बढ़ जाएगा। रक्षा पर खर्च ख्.भ् लाख करोड़ रुपए है। कंपनियों को कर और अन्य प्रकार की छूट देने और सस्ते दाम पर जमीन और अन्य संसाधन देने में भी आपका पैसा जाता होगा। यह सोचते हुए हम नरेगा श्रमिक व्यापक पैमाने पर सामूहिक तौर पर झारखंड राज्य में बढ़ी हुई नरेगा की मजदूरी पांच रुपए को आपको वापस कर रहे हैं। आशा है कि हम सब मजदूरों के लौटाए गए पैसे से आप अपने कंपनी मालिक दोस्तों और कर्मचारियों को खुश कर पाएंगे।