- दो पालियों में भाजपा नेताओं ने किया मार्ग जाम

- पोस्टमार्टम से पहले जिलाध्यक्ष तो बाद में विधायक किया नेतृत्व

- पीडि़त परिजनों को आर्थिक सहायता व आरोपियों पर रासुका के आश्वासन पर खुला जाम

Sardhna : खिवाई में देर रात रंगदारी को लेकर किराना व्यापारी व डेयरी संचालक की हत्या मामले में भाजपाइयों ने दो पालियों में जाम लगाकर पीडि़तों को न्याय दिलाने की मांग की। जबकि पोस्टमार्टम से पूर्व ही अधिकारियों ने लगभग सभी मांग मान ली थी। पोस्टमार्टम के बाद विधायक संगीत सोम के नेतृत्व में मेरठ-बड़ौत मार्ग जाम कर दिया। कई थानों की पुलिस के साथ प्रशासनिक अधिकारियों के साथ पुलिस अधिकारियों ने आक्रोशित ग्रामीणों को समझाने का प्रयास किया। लेकिन घंटों की जद्दोजहद के बाद अधिकारियों ने फिर से भाजपाइयों को पीडि़त परिजनों को आर्थिक सहायता, आवास व पट्टे की भूमि आरोपियों पर रासुका का आश्वासन देकर जाम खुलवाया।

ये है घटनाक्रम

बता दें कि खिवाई गांव में किराना व्यापारी अजीत उर्फ टोनी जैन पुत्र महेंद्र की सोमवार देर शाम गांव निवासी बदमाश ने साथियों के साथ गोलियां बरसा कर हत्या कर दी थी। घटना के समय अजीत दुकान पर बैठा हुआ ग्राहकों को सामान दे रहा था। घटना को अंजाम देने के बाद आरोपी हवाई फायरिंग करते हुए मौके से फरार हो गए थे। परिजन घायल को मेरठ स्थित अस्पताल में लेकर गए थे। जहां चिकित्सकों ने व्यापारी को मृत घोषित कर दिया था।

ग्रामीणों ने लगाया जाम

व्यापारी की मौत की सूचना मिलने पर ग्रामीणों में आक्रोश फैल गया और उन्होने शव को लाकर मेरठ-बड़ौत मार्ग पर रख कर जाम लगा दिया था। देर रात पहुंचे भाजपा के जिलाध्यक्ष शिवकुमार राणा के साथ क्षेत्रीय मंत्री सतेंद्र भराला, संजय त्यागी आदि नेताओं ने अधिकारियों से वार्ता करते हुए पीडि़त परिजनों को मुआवजा दिलाने की मांग रखी थी। डीएम पंकज यादव के साथ कप्तान डीसी दुबे के आश्वासन पर ग्रामीणों ने जाम खोला। तब शव को पीएम के लिए भेजा गया था। बाद में मृतक के भाई पंकज जैन ने गांव निवासी साजिद, आबिद, राशिद तथा शाहिद पुत्रगण आबिद तथा यामीन पुत्र नूर मोहम्मद के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। हत्यारे घरों पर ताले लगाकर फरार हो गए।

सरधना विधायक ने लगाया जाम

मंगलवार की दोपहर गांव में मृतक के परिजनों को सांत्वना देने पहुंचे सरधना विधायक संगीत सोम ने बड़ी संख्या में ग्रामीणों के साथ मेरठ बड़ौत-मार्ग पर शव रखकर जाम लगा दिया। मौके पर पहुंची आधा दर्जन थानों की पुलिस के साथ एसपी देहात व सीओ बेबस खड़े दिखाई दिए। बाद में एडीएम प्रशासन दिनेश चंद ने विधायक के साथ वार्ता करने का प्रयास किया। लेकिन कई दौर की वार्ता के बाद डीएम के आदेश से एडीएम प्रशासन ने पीडि़तों को आवास देने के साथ किसान दुर्घटना बीमा, मुख्यमंत्री राहत कोष के साथ साढ़े दस लाख की आर्थिक सहायता, कृषि योग्य पट्टे की पांच बीघा भूमि आवंटन करने, हत्यारों की गिरफ्तारी 24 घंटे में करने तथा उन पर रासुका लगाने के आश्वासन दिया। जिसके बाद जाम खुला। इस मौके पर सुनील भराला, प्रदीप ढडरा, बलराज डूंगर, राजकुमार डूंगर, बजरंग दल के छात्र प्रमुख मिलन सोम के आदि मौजूद रहे।