-सदर बाजार की विजय बैंक में लाखों रुपए की है डकैती

-केमीकल डालकर बदमाशों ने बैंक में लगाई आग

-डकैती के दौरान बदमाशों ने ले लिए थे सभी के मोबाइल

-आसपास के लोगों ने आग बुझाने में की थी सहभागिता

AGRA। वीआईपी एरिया में दिनदहाड़े डकैती ने थर्सडे को पुलिस के हाथ-पांव फुला दिए। हमेशा भीड़ से पटे रहने वाले सदर बाजार में बदमाशों ने ताज रोड स्थित विजया बैंक में दिनदहाड़े लूट की वारदात को अंजाम दिया। वारदात के दौरान कई कस्टमर्स भी बैंककर्मियों के साथ बैंक में उपस्थित थे। हथियारों के बल पर बदमाशों ने बैंककर्मियों को बंधक बनाया और फिर साक्ष्य मिटाने के लिए बैंक में केमिकल डालकर आग लगा दी। आश्चर्य की बात यह रही कि बैंक में कोई गार्ड नहीं था।

दिनदहाड़े डाला डाका

कमिश्नर के कैम्प कार्यालय से चंद कदमों की दूरी पर स्थित ताज रोड स्थित विजय बैंक की आगरा कैंट ब्रांच में थर्सडे को दिनदहाड़े म्-7 बदमाश घुस गए। बदमाश बाइकों पर सवार होकर पहुंचे थे। घटना लंच के ठीक बाद की बताई जा रही है। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, बैंक में बदमाश करीब पौने तीन बजे घुसे थे। जिस टाइम बदमाश बैंक में दाखिल हुए थे, राज म्युजिको के ओनर राजेंद्र का एकाउंटेंट चन्द्रप्रकाश और ड्राइवर सरदार एसपी सिंह बैंक के अंदर कैश जमा करा रहे थे। प्रत्यक्षदर्शी चन्द्र प्रकाश के अनुसार, बैंक में घुसे बदमाशों ने पिस्तौल तान दी थीं। राज म्युजिको के एकाउटेंट सात लाख रुपए कैश लेकर गए थे। जिसे बदमाशों ने झपट लिया। बदमाशों ने मैनेजर की कनपटी पर पिस्तौल लगा बैंक के काउंटर्स से कैश समेटने के बाद स्ट्रांग रूम की चाबी भी हथिया ली। इसके बाद बैंक से तकरीबन पच्चीस लाख रुपए का कैश पर डाका डाला। घटना के दौरान चाय वाला चाय देने आया था।

कर्मचारियों के ले लिए थे मोबाइल

बदमाशों ने बैंक के अंदर दाखिल होने के बाद हथियार लहराए। कर्मचारियों को भयभीत करने के बाद उनके मोबाइल छीन लिए और सभी को लॉकर रूम में बंद कर दिया। बाहर से कुंडी लगा दी। लॉक लगाने के लिए जब चाबी के बारे में पूछा तो एक कर्मचारी ने समझदारी दिखाते हुए अंधेरे का हवाला देते हुए कह दिया कि अंधेरे में चाबी नहीं मिल रही। इसके बाद बदमाशों ने धमकाते हुए कहा कि शोर मचाने पर जान से हाथ धो बैठोगे। आधे घंटे तक बाहर नहीं आना, हम अभी यहीं हैं।

बैंक पर ताल डाल लगा दी आग

कर्मचारियों को अंदर बंद कर बाहर निकलने के बाद बदमाशों ने बैंक के मुख्य चैनल को बंद कर ताला डाल दिया। बाहर निकले बदमाशों ने सबसे पहले बैंक मैनेजर के ऑफिस के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे पर केमिकल डालकर आग लगा दी। यह आग सीसीटीवी के नीचे स्थित मैनेजर ऑफिस की विंडो ने भी पकड़ ली। देखते ही देखते पूरी बैंक में आग लग गयी। बैंक के अंदर बंद कर्मचारियों का इस आग के मारे दम घुटने लगे।

चन्द्रप्रकाश ने दी अंदर से खबर

बदमाशों के जाने के बाद घटना की खबर सबसे पहले राज म्यजिको के कर्मचारी चन्द्र प्रकाश ने ही दी थी। दरअसल जिस टाइम बदमाशों ने बैंक कर्मियों और कस्टमर्स के मोबाइल छीन लिए थे, तब चन्द्र प्रकाश ने अपना मोबाइल चालाकी से बचा लिया था। बताते हैं कि उसने पास में कहीं मोबाइल को छिपा दिया था। जिसे बाद में उसने चुपके से अपनी जेब में रख लिया। बैंक में आग लगाकर बदमाशों के जाने के बाद चन्द्र प्रकाश ने अपने ओनर राजेंद्र के इसी मोबाइल से खबर दी। राजेंद्र ने तत्परता दिखाते हुए ख्.ब्0 बजे फायर लाइन को कंट्रोल रूम पर डकैती और बैंक में आगजनी की खबर दी। हालांकि ठीक उसी टाइम बैंक के आसपास रहने वाले लोगों ने भी बैंक से धूंआ निकलते देखकर फायर ब्रिगेड के कंट्रोल रूम पर फोन कर दिया था। एक ही घटना के फायर लाइन में लगभग तीन-चार कॉल पहुंचे थे।

लोगों ने तोड़े ताले, बुझाई आग

ब्9 मॉल रोड के जिस कैम्पस में बैंक है, वहीं कई लोगों के रेजीडेंस भी हैं। इसी कैम्पस में फेमस गजल गायक सुधीर नारायन का घर भी है। उन्होंने मामले की जानकारी डीआईजी को दी। जिससे कुछ ही देर बाद मौके पर फोर्स पहुंच गया। घटना की जानकारी बैंक से धूंआ निकलने के बाद हुई तो लैंडलोर्ड विजय पाटनी ने भी तत्काल घटना की जानकारी फायर ब्रिगेड को की। मौके पर दमकल और पुलिस फोर्स के साथ ही साथ सेना के जवान भी पहुंच गए थे। लेकिन, इससे पहले ही विजय पाटनी, पास ही रहने वाले हेमंत सलूजा आदि लोगों ने आग को बुझाकर कर्मचारियों और कस्टमर्स को बैंक से बाहर निकालकर इलाज के लिए भेजने में सहयोग दिया।

आगाह किया था कस्टमर्स ने

मौके पर मौजूद बैंक के कस्टमर्स कहना था कि लम्बे टाइम से बैंक में आ‌र्म्ड गार्ड नहीं था। इसको लेकर उन्होंने बैंक के आला अधिकारियों से कई बार कहा भी था। लेकिन, बैंक प्रबंधन ने इस ओर कोई ध्यान नहीं दिया। बैंक के ही बाहर लगे एटीएम पर जरूर एक गार्ड था। लेकिन, घटना के टाइम वह खाना खाकर पानी पीने चला गया था। कस्टमर्स का कहना था कि अगर बैंक पर गार्ड होता तो कम से कम अपने हथियार से बदमाशों का मुकाबला तो करता।

चिंतित कस्टमर्स पहुंचे बैंक

बैंक के कस्टमर्स को जब डकैती और आगजनी की खबर हुई तो मौके पर पहुंचे। सभी की चिंता एक ही थी। मौके पर पुलिस से बैंक में माल सुरक्षित होने की जानकारी मांग रहे थे। सबसे ज्यादा चिंतित दिखे बैंक के लॉकर होल्डर्स। जब कस्टमर्स को पता लग गया कि बैंक के लॉकर्स तक बदमाश नहीं पहुंच पाए हैं तो उनकी जान में जान आई।

पहुंची फोरेंसिक टीम

बैंक डकैती और आगजनी के बाद मौके पर फोरेंसिक एक्सप‌र्ट्स की टीम भी पहुंची। डॉग स्क्वॉयड को भी बैंक कैम्पस में ले जाया गया। लेकिन, वारदात के बाद लगाई गयी आग ने शायद डॉग स्क्वॉयड को गंध के जरिए काम करने में असहाय कर दिया। यही वजह रही कि डॉग स्क्वॉयड बैंक के चैनल वाले मुख्य गेट से आगे ही नहीं बढ़ा। फोरेंसिक टीम को मौके से कई मोबाइल, हाथ का कड़ा और जूते, चप्पल आदि भी मिले हैं।

बॉक्स।

अंदर डकैत, बाहर लोग निकलते रहे

बैंक के पास ही रहने वाले राजीव जैन का कहना है कि वह करीब पौने तीन बजे सदर बाजार स्थित अपनी कोल्ड ड्रिंक वाली दुकान के कूलर के लिए पानी लेने बैंक कैम्पस में ही आया था। पानी लेकर जब वह दुकान के लिए लौट रहा था तब करीब पौने तीन बजे होंगे। वह दुकान पर पहुंचा तो उसे पता लगा कि बैंक में से धूंआ निकल रहा है। इस खबर को सुनकर वह वापस आया। आसपास के लोगों के साथ आग बुझाने और लोगों को बाहर निकालने में सहयोग किया।

बॉक्स।

क्97म् से रन कर रहा है बैंक

बैंक जिस बिल्डिंग में स्थित है उसके लैंडलोर्ड विजय पाटनी बताते हैं कि विजय बैंक यहां क्97म् से रन कर रहा है। लेकिन, आज तक बैंक में कोई डकैती जैसी वारदात नहीं हुई। यह पहला मौका है जब बदमाशों ने इस तरह की दिनदहाड़े दुस्साहसिक वारदात को अंजाम देकर बैंककर्मियों और कस्टमर्स को जिंदा जलाने की कोशिश भी की है।

आगजनी के शिकार बैंककर्मी भेजे गए एसएन

बदमाशों ने सदर क्षेत्र स्थित विजया बैंक में डाका तो डाला ही साथ ही बैंककर्मियों के साथ कुछ ग्राहकों को अंदर बंद कर बैंक को आग के हवाले कर दिया। इससे अंदर बंद हुए लोगों की दम घुटने से हालत बिगड़ गई। वारदात के बाद पहुंची पुलिस ने घायलों को एसएन इमरजेंसी में भर्ती कराया है।

पहुंचे सेना के जवान रेस्क्यू कर निकाला बाहर

घटना के दौरान बदमाशों ने अंदर जाकर लूटपाट कर दी साथ ही बैंक को आग के हवाले कर दिया था। अन्दर मैनेजर सहित अन्य स्टाफ के अलावा कुछ बैंक के ग्राहक भी मौजूद थे। जैसे-जैसे बैंक में धुआं बढ़ता गया वैसे-वैसे घुटन बढ़ने लगी थी। देर की मशक्कत के बाद अन्दर मौजूद लोगों का बेहाश होना शुरु हो गया था। वारदात के बाद थोड़ी ही देर में दुस्साहसिक डकैती की सूचना पूरे शहर में आग की तरह फैल गई थी। मौके पर कई थानों के फोर्स के अलावा आर्मी की पूरी टीम भी पहुंच गई थी। पुलिस व आर्मी ने किसी तरह अंदर फंसे लोगों को बाहर निकाला।

बेहोश घायलों को भेजा गया एसएन

फायर ब्रिगेड की दमकल ने आग पर पूरी तरह काबू पाया तब जाकर लोग बैंक के अन्दर दाखिल हुए और अन्दर फंसे लोगों को बाहर निकाला। बेहोश बैंक स्टाफ सहित तीन-चार अन्य को उपचार के लिए एसएन अस्पताल भेजा था।

यह हुए डकैती के शिकार आग के धुएं में बेहोश

बैंक में कुछ बेहोश घायलों के परिजन भी पहुंच गए थे। सुबह घर से नॉमर्ल निकले घरवालों को बैड पर पड़े अचेत अवस्था में देख उनकी आंखें भर आई। बैंक के स्टाफ के एक व्यक्ति ने बताया कि एसएन में बैंक मैनेजर विनोद कुमार, असिस्टेंट मैनेजर एसडी शर्मा, क्लर्क विजय पाल, नंद लाल, पीओ नीतू सिंह, प्यून नरायन के अलावा बैंक ग्राहक संदीप, सलमान, बाबी, अल्ताफ को भर्ती कराया गया है।