रेल बजट 2012-13 पर लोकसभा में हुई चर्चा के जवाब में राय ने सामान्य श्रेणी, उपनगरीय ट्रेनों के किरायों, शयनयान, एसी चेयरकार और एसी-3 टियर के किरायों में प्रस्तावित बढोतरी को वापस लेने की घोषणा की।

 रेल मंत्री ने रेलवे के लिए संसाधन जुटाने के उद्देश्य से आक्रामक अभियान चलाने की बात कही। साथ ही कहा कि रेलवे स्टेशनों एवं ट्रेनों में सुरक्षा तथा साफ सफाई को एजेंडे में शीर्ष पर रखा जाएगा।

 गौरतलब है कि इस रेल बजट को पूर्व रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी ने पेश किया था, जिसमें सभी श्रेणियों के यात्री किरायों में बढोतरी का प्रस्ताव किया गया था। तृणमूल कांग्रेस ने इस बढोतरी का विरोध किया था और तृणमूल प्रमुख ममता बनर्जी के दबाव में त्रिवेदी को रेल मंत्री पद से इस्तीफा देना पडा था।

रेल बजट पर चर्चा की शुरूआत के दिन 20 मार्च की सुबह ही नए रेल मंत्री के रूप में राय को शपथ दिलाई गई और उन्होंने ही चर्चा का जवाब दिया। राय ने कहा कि किराया बढोतरी के प्रस्ताव से आम आदमी काफी गुस्से में है। इससे उनकी जेब पर भारी बोझ पडा है। ‘‘मैं स्लीपर, उपनगरीय, एसी चेयरकार, सामान्य और एसी-3 टियर की किराया बढोतरी वापस लेकर आम आदमी को राहत देना चाहता हूं.’’ राय ने एसी-2 और एसी-। के किरायों में प्रस्तावित बढोतरी को वापस नहीं लिया।

 किराया वापसी के बडे फैसले के साथ ही नए रेल मंत्री ने पूर्व मंत्री त्रिवेदी द्वारा पेश बजट में रेलवे बोर्ड के विस्तार के प्रस्ताव को भी फिलहाल रोक दिया है। त्रिवेदी ने बोर्ड में दो अतिरिक्त सदस्यों को शामिल करने का प्रस्ताव किया था। रेल मंत्री ने आश्वासन दिया कि बिना फाटक वाली रेलवे क्रासिंगों पर होने वाली दुर्घटनाओं को देखते हुए वह समयबद्ध तरीके से ऐसे फाटकों को समाप्त करने का कदम उठाएंगे।

उन्होंने कहा कि सुरक्षा श्रेणी के सभी रिक्त पदों को जल्द से जल्द भरा जाएगा और साथ ही निचले श्रेणी के कर्मचारियों एवं विकलांगों के रिक्त पदों को भरा जाएगा।

राय ने तृणमूल प्रमुख ममता बनर्जी की तारीफ करते हुए कहा कि रेल मंत्री के रूप में उन्होंने रेलवे के आधुनिकीकरण के लिए विजन-2020 पेश किया था। राय ने कहा कि वह विजन रेलवे के विकास का रोडमैप होगा.  उन्होंने कहा, ‘‘ ममता ने समावेशी विकास की परिकल्पना की थी। मैं उसे सलाम करता हूं और वादा करता हूं कि आम आदमी के लिए उनके एजेंडे को आगे फॉलो करुंगा।

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