कल का दिन होगा खास

क्रिकेट की दुनिया के गॉड के नाम से पहचाने जाने वाले महान्तम बल्लेबाज सचिन को कल मिल सकता है जीवन का सबसे हसीन तोफा. कई सारी रुकावटों और कयासों के लगाए जाने के बाद सचिन को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न देने की प्रक्रिया समाप्त हो गई है. अब कल 4 फरवरी को देश की ओर से ये अवॉर्ड पाकर सचिन औपचारिक रूप से 'भारत रत्न सचिन तेंदुलकर' हो जाएंगे.

विदाई के दिन ही शुरु हो गई थी प्रक्रिया

सचिन तेंदुलकर को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित करने की प्रक्रिया बहुत पहले से ही शुरु हो गयी थी. 14 नवंबर को जब उन्होंने आखिरी टेस्ट खेलकर संन्यास लिया था उसके दो दिन बाद ही उन्हें भारत रत्न देने की घोषणा की गई थी. सूचना का अधिकार कानून (आरटीआइ) के तहत मिले जवाब में यह खुलासा हुआ है. कैंसर से जूझ रहे खेल प्रेमी आरटीआइ कार्यकर्ता हेमंत दुबे ने यह सूचना मांगी थी. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) द्वारा उन्हें इस कानून के तहत उपलब्ध कराए गए. दस्तावेजों में बताया गया है कि पीएमओ से निदेशक राजीव टोपनो के हस्ताक्षर युक्त फैक्स को 14 नवंबर 2013 को दोपहर एक बजकर 35 मिनट पर खेल मंत्रालय को भेजा. जिसमें एक निर्धारित प्रारूप में तेंदुलकर का बायो डाटा भेजने के निर्देश दिए गए थे.

फटाफट हुआ काम

इस पर कार्रवाई करते हुए खेल मंत्रालय ने उसी दिन शाम 5 बजकर 22 मिनट पर मात्र चार घंटे के अंदर पीएमओ को तेंदुलकर का बायो डाटा भेज दिया. 15 नवंबर को प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने सभी औपचारिकताएं पूरी कर दी और सचिन को भारत रत्न से सम्मानित करने का संबंधी प्रस्ताव राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी भेजा दिया. राष्ट्रपति का अनुमोदन मिलते ही 16 नवंबर को चौबीस घंटे बाद इसकी घोषणा कर दी गई. इसके बाद प्रधानमंत्री ने तेंदुलकर को भारत रत्न से सम्मानित करने की सूचना दी. उन्होंने 17 नवंबर को एक पत्र भेज दिया. तेंदुलकर को अब चार फरवरी को दिल्ली में इस सम्मान से सम्मानित किया जाएगा.

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