बसपा नेता गोपी पारिया की हत्या के आरोपी आशीष गुर्जर की आज गोलियों से भूनकर हत्या

पल्सर सवार आठ हमलावरों ने दिया वारदात को अंजाम

Meerut। शोभापुर गांव के पास शनिवार दोपहर बाद करीब एक बजे खेत में गेहूं बो रहे बसपा नेता के हत्यारोपी की तीन बाइक सवार आठ हमलावरों ने ताबड़तोड़ गोलियां बरसाकर हत्या कर दी। युवक के पास उसके दो साथी भी मौजूद थे, जिन्होंने भागकर जान बचाई। हमलावर हाईवे के रास्ते फरार हो गए। सूचना पर ग्रामीण घटनास्थल पर पहुंचे और युवक को कैलाशी अस्पताल ले गए, जहां उसे मृत घोषित कर दिया। जिसके बाद परिजन शव घर ले आए। एसपी सिटी, एसपी क्राइम पुलिस के साथ घटनास्थल पर पहुंचे और शव को पोस्टमार्टम के लिए उठाने का प्रयास किया। मगर परिजन और भीड़ ने हंगामा कर दिया। काफी देर बाद आशीष के पिता के समझाने पर शव उठाने दिया गया।

मुकदमे की तारीख थी

दरअसल, एससी/एसटी एक्ट में संशोधन के बाद दो अप्रैल को पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हिंसा पनप गई थी। गत चार अप्रैल को शोभापुर में दलित बसपा नेता गोपी परिहार की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। जिसमें कंकरखेड़ा थाना क्षेत्र के शोभापुर गांव निवासी आशीष गुर्जर पुत्र महके सिंह के अलावा मनोज, कपिल और सुनील नामजद हुए थे। पुलिस ने चारों आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा। इसमें दो महीने पूर्व ही आशीष गुर्जर और सुनील जमानत पर रिहा हुए थे। मनोज और कपिल जेल में बंद हैं। शनिवार को गोपी परिया हत्याकांड में चारों आरोपियों की कोर्ट में तारीख थी। अन्य परिजन तारीख पर गए हुए थे और आशीष को भी जाना था।

तीन पल्सर पर आठ हमलावर

करीब एक बजे आशीष अपने दोस्त प्रिंस, अंशुल और दीपक टाटिया के साथ शोभापुर गांव के पास ही आर्मी फार्म हाउस के नजदीक अपने खेतों में गेहूं बोने के लिए गया था। खेत के पास आशीष तीनों दोस्तों के साथ बैठा हुआ था। प्रत्यक्षदर्शी प्रिंस ने बताया कि इसी बीच तीन पल्सर सवार आठ युवक आए और आशीष गुर्जर को निशाना बनाते हुए ताबड़तोड़ गोलियां चला दी, जिसमें आठ गोली आशीष को लगीं। एक हमलावर ने प्रिंस पर गोली चलाने के लिए तमंचा ताना, जिस पर वह हमलावर को पत्थर मारकर भाग गया। उसने गांव जाकर घटना की जानकारी ग्रामीणों को दी। सूचना पर ग्रामीण और परिजन खेत पर भागे, जहां से उन्होंने आशीष को गाड़ी से अस्पताल पहुंचाया।

भारी पुलिस फोर्स मौके पर

परिजन शव को रोहटा रोड पर स्थित राणा फार्म हाउस के पास उसके घर ले आए, जहां एसपी क्राइम डॉक्टर बीपी अशोक, एसपी सिटी रणविजय सिंह, सीओ अखिलेश भदौरिया समेत आधा दर्जन थानों की पुलिस मौके पर पहुंची।

हमलावरों के नाम बताए

प्रत्यक्षदर्शी प्रिंस ने एसपी सिटी और एसपी क्राइम को बताया कि आशीष गुर्जर की हत्या में शोभापुर गांव के अनुसूचित जाति के आठ हमलावर शामिल थे। इनमें गोपी परिया का भाई प्रशांत उर्फ नीशु पुत्र ताराचंद पारिया, विजय उर्फ भांडु, गिज्जू उर्फ अमरदीप पुत्र राजेंद्र, रोहित पुत्र सुभाष, रवि पुत्र नाथ, रोहित, अमित पुत्र विजयपाल और केवल का सबसे छोटा पोता शामिल था।

परिजनों का आरोप

आशीष गुर्जर के परिजनों ने बताया कि गोपी परिहार के भाई ने गांव में उसकी हत्या का ऐलान कर रखा था। वह कह रहा था कि खून का बदला खून से लेगा। जिसके चलते आशीष की हत्या की गई है। मौके पर भारी संख्या में गुर्जर समाज के लोग जमा हो गए और हमलावरों की गिरफ्तारी न होने तक शव नहीं उठने देने की चेतावनी दी। एसपी सिटी रणविजय सिंह ने आशीष के परिजनों और गुर्जर समाज के लोगों को आश्वासन दिया है कि हमलावर जो भी हैं, वे गिरफ्तार होंगे। किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।

छावनी में तब्दील शोभापुर

पुलिस ने गांव को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया। गांव के आने-जाने वालो की चेकिंग कराई जा रही है। दोनों समुदाय के मोहल्लों में भी पुलिसबल तैनात किया गया है।