- डीजीपी की अगुवाई में तैयार हो रहा एक्शन प्लान

- सभी संसाधनों से लैस टीमें करेंगी हाईवे पर गश्त

- आईजी और डीआईजी भी निकलेंगे रात्रि चेकिंग पर

LUCKNOW: बुलंदशहर घटना के बाद मुख्यमंत्री के निर्देश पर डीजीपी मुख्यालय ने हाईवे सिक्योरिटी का एक्शन प्लान बनाना शुरू कर दिया है। मंगलवार को डीजीपी मुख्यालय में इसका खाका तैयार किया गया। डीजीपी जावीद अहमद ने एडीजी ट्रैफिक अनिल अग्रवाल को बुलाकर उनसे हाईवे पुलिसिंग की पुरानी योजनाओं की जानकारी लेने के साथ नया एक्शन प्लान बनाने के लिए सुझाव देने को कहा। प्रारंभिक चरण में हाईवे सिक्योरिटी के लिए स्पेशल टीमें बनाने पर सहमति बनी है जो किसी भी जिला पुलिस के अधीन नहीं होंगी। गश्त के दौरान अपराधियों की धरपकड़ कर उन्हें नजदीकी थाने के सिपुर्द कर दिया जाएगा।

चुनिंदा पुलिसकर्मी रहेंगे टीम में

हाईवे सिक्योरिटी टीम में ऐसे चुनिंदा पुलिसकर्मियों को तैनात किया जाएगा जो पूर्व में बावरिया, घुमंतू आदि गिरोहों के खिलाफ उल्लेखनीय काम कर चुके हैं। इसके लिए एडीजी कानून-व्यवस्था दलजीत सिंह चौधरी पुलिसकर्मियों को चिन्हित करेंगे। यह टीमें सीधे डीजीपी मुख्यालय को रिपोर्ट करेंगी ताकि किसी भी मामले को जिला स्तर पर दबाने की कोशिश न हो सके। टीमों को सभी अत्याधुनिक संसाधनों से लैस किया जाएगा। स्पेशल ट्रेनिंग के अलावा अत्याधुनिक असलहे मुहैया कराये जाएंगे। गाडि़यों पर माउंटेड कैमरे के साथ पुलिसकर्मियों को भी बाडी वार्न कैमरे मिलेंगे ताकि चेकिंग के दौरान कोई अभद्रता अथवा लूट जैसे झूठे आरोप न लगा सके। किसी भी व्यक्ति को चेकिंग के लिए रोकने से पहले उन्हें कैमरा ऑन करना होगा। साथ ही कंट्रोल रूम को पल-पल की सूचना देनी होगी। प्रारंभिक चरण में करीब पांच हजार किमी नेशनल और स्टेट हाईवे को कवर करने की योजना है। इन टीमों को पचास-पचास किलोमीटर का रास्ता गश्त के जरिए चेक करने का जिम्मा सौंपा जाएगा।

आईजी, डीआईजी भी निकलेंगे गश्त पर

डीजीपी के निर्देश पर सोमवार रात आईजी जोन लखनऊ द्वारा रात्रि चेकिंग अभियान चलाया गया था। इसकी सफलता को देखते हुए अब इसे पूरे प्रदेश में लागू करने की कवायद की जाएगी। हफ्ते में एक बार आईजी जोन और डीआईजी रेंज को अपने क्षेत्र के हाईवे पर गश्त करके सुरक्षा इंतजामों को परखना होगा। इसके जरिए पुलिस को अलर्ट रखने के अलावा उन्हें संवेदनशील भी बनाया जा सकेगा।

नये हाईवे पर भी नजर

डीजीपी मुख्यालय में बने रहे एक्शन प्लान में प्रदेश में निर्माणाधीन हाईवे की सुरक्षा के बंदोबस्त भी किये जाएंगे। कुछ दिनों पहले तत्कालीन आईजी कानून-व्यवस्था ए। सतीश गणेश ने आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस वे की सुरक्षा के लिए प्रस्ताव तैयार किया था, इसे ठंडे बस्ते से निकाल कर अमल में लाया जा सकता है। इस प्रस्ताव में हाईवे पर पीएसी की बटालियन स्थापित करने का सुझाव दिया गया था ताकि पुलिस की गाडि़यों का आवागमन बना रहने से अपराधी हाईवे पर नजर डालने की भी न सोच सकें।

नंबर गेम

- 5 हजार किमी। का हाईवे प्रारंभिक चरण में होगा कवर

- 50 किमी। का एरिया एक टीम के हवाले होगा।

प्रस्ताव

- स्पेशल टीमें बनेंगी जो जिला पुलिस के अधीन नहीं होगी।

- एडीजी लॉ एंड ऑर्डर दलजीत सिंह चौधरी करेंगे पुलिसकर्मियों को चिन्हित

- यह टीमें सीधे डीजीपी मुख्यालय को रिपोर्ट करेंगी

- टीमों को सभी अत्याधुनिक असलहों से किया जायेगा लैस

- कंट्रोल रूम को पल-पल की सूचना देनी होगी।