-रिंग रोड किनारे ऐढ़े गांव में आबाद टेंट शहर अब कुछ और दिन का मेहमान, तेजी से हो रहा पैकअप

-सप्ताह भर बाद नहीं दिखेगा टेंट सिटी का नामोनिशान

प्रवासियों के लिए ऐढ़े गांव में बसायी गयी आलीशान टेंट सिटी अब उजड़ने लगी है। एक एक कर कॉटेज को खोला जा रहा है। एजेंसी सामान समेट रही है। करीब दो महीने में बनकर तैयार टेंट सिटी को करीब एक हफ्ते में समेट लिया जाएगा। गेट नंबर एक और गेट नंबर दो को बैरियर से बंद कर अंदर जाने पर रोक लगाई गयी है। कुछ सामानों को ग्रामीण चोरी-छिपे उठा लिये थे तो दोनों गेट इंट्री प्वाइंट पर पुलिस की तैनाती कर दी गई।

सिक्योरिटी की सता रही चिंता

पहले जहां टेंट सिटी की रखवाली के लिए सब इंस्पेक्टर सहित आधा दर्जन जवानों की ड्यूटी लगी रहती थी तो अब वहीं पुलिसकर्मियों की संख्याओं में कमी कर दी गई है। अब सिर्फ दो से तीन ही जवान ड्यूटी में दिख रहे हैं। यही कारण है कि बेखौफ आसपास के ग्रामीण कुछ सामान भी पार कर दे रहे हैं। टेंट सिटी बसाने वाली कंपनी ने भी अपनी ओर से सिक्योरिटी का पूरा बंदोबस्त रख रही है लेकिन फिर भी कुछ सामान गायब होने की खबर डेली मिल रही है। सामान जल्द से जल्द समेटने को लेकर दिन-रात काम हो रहा है। बाहर से आए श्रमिक टेंट सिटी में जुडे़ हर सामानों को बड़े-बड़े बॉक्स में बंद कर रहे हैं।

बाहरी वॉल को पहले किया जमींदोज

रिंग रोड से किनारे होने के कारण टेंट सिटी की बाहरी दीवारों को आकर्षक बनाया गया था। बड़े-बड़े फोटो और कटआउट के जरिए खास सजावट की गयी थी। जिसे देख राहगीर रुककर नजारा देखने के लिए अंदर जा रहे थे । इसे देखते हुए कंपनी के कांट्रेक्टर ने पहले बाहरी दीवारों से कटआउट उजाड़ने और दीवारों को ढहाने पर पूरा जोर दिया है। अंदर कंपनी के कर्मचारी सामानों की काउंटिंग कराकर पैकअप करा रहे हैं।

हसरत रह गई अधूरी

ऐढ़े गांव में अपनी बुआ के यहां आए दीपक कुमार को टेंट सिटी नहीं देख पाने की टीस है। बताया कि सोनभद्र से ऐढ़े बुआ के घर टेंट सिटी देखने आया था। रिंग रोड पर खड़े होकर दूर से ही टेंट सिटी देखा, मगर अंदर घूमने की अनुमति नहीं मिली। सम्मेलन समाप्त होने के बाद भी इंट्री नहीं दी गई। ऐढ़े गांव के बुजुर्ग विमल, सुक्खी और लल्लन ने भी कहा कि अब तक के इतिहास में पहली बार ऐसा आयोजन और सजावट देखने को मिला। हालांकि अंदर घूमने की हसरत अधूरी ही रह गई।

एक नजर

42

एकड़ में बसा था टेंट सिटी

620

टेंट रूम बनाए गए थे

500

डिलक्स रूम

120

फैमिली रूम

1480

लोगों के लिए ठहरने का था इंतजाम

-टेंट सिटी में फायर ब्रिगेड, पुलिस चौकी, रिसेप्शन हॉल, फूड कोर्ट, स्पा, जिम आदि की व्यवस्थाएं की गई थी, एक शहर ही बसाया गया था।