Lucknow: वन विभाग अभी रहमान खेड़ा में निकले बाघ को खोजने में ही जुटा था कि उधर हरदोई में लेपर्ड के आने से हड़कंप मच गया। रहमत खेड़ा में गांवों के आस पास बाघ जमा है तो हरदोई में गांवों के पास ही लेपर्ड ने डेरा डाल दिया है। अंतर यह है कि यहां पर बाघ ने किसी व्यक्ति पर हमला नहीं किया जबकि वहां पर लेपर्ड ने 16 लोगों को घायल कर दिया है। इनमें से एक की हालत अभी गंभीर बनी हुई है।
एक और पिंजरा
रहमतखेड़ा में सामने आए बाघ के लिए वन विभाग ने अपने कर्मचारियों के साथ ही दूसरे प्रदेश के एक्सपट्र्स  को बुलाकर उसे पकडऩा चाहा लेकिन बाघ हर बार उनके हाथ से बच निकला। डीएफओ अवध अशोक मिश्रा ने बताया कि बाघ के लिए मंगलवार को एक और पिंजरा मंगवाया गया है। बुधवार सुबह से हथिनी रूपकली के माध्यम ये काम्बिंग की जाएगी। मंगलवार को भी पग माक्र्स देखने को मिले हैं। वह अभी भी रहमत खेड़ा के जंगलों में मौजूद हैं।
लौट आएगा
वहीं डीएफओ हरदोई आर के त्रिपाठी ने बताया कि लेपर्ड गांव के पास हैं। आज भी उसके पग माक्र्स मिले हैं। उन्होंने बताया कि वन विभाग से रेस्क्यू टीम की डिमांड भेज दी है। लेकिन यह उम्मीद है कि जंगल से सटे गांव के खेतों में गन्ने फसल खड़ी है। जैसे-जैसे फसल कटेगी लेपर्ड जंगल की तरफ लौट जाएगा।