-पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा जटाशंकर और मोहद्दीपुर गुरुद्वारा

-चमकाए जाएंगे सूर्यकुंड धाम, कालीबाड़ी, मुंजेश्वर व मुक्तेश्वर धाम मंदिर

GORAKHPUR: सीएम योगी आदित्यनाथ की मंशा के अनुरूप बौद्ध परिपथ के हृदय स्थल पर गोरखपुर में टूरिस्ट का ठहराव बढ़ाने के लिए टूरिज्म डिपार्टमेंट हर जतन कर रहा है। डिपार्टमेंट सिटी के दो प्रमुख गुरुद्वारों और चार प्राचीन मंदिरों को चमकाने की तैयारी में है। पर्यटन निदेशालय के निर्देश पर विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय से इस बाबत इस्टीमेट तैयार कर शासन को भेज दिया गया है। क्षेत्रीय कार्यालय को अब इस्टीमेट के मंजूरी का इंतजार है।

पर्यटकों को करेगा आकर्षित

निदेशालय से मांगे गए प्रस्ताव के मुताबिक, जटाशंकर और मोहद्दीपुर गुरुद्वारों को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाना है। शहर की आध्यात्मिक धरोहरों में सूर्यकुंड धाम, कालीबाड़ी मंदिर, मुंजेश्वर और मुक्तेश्वर नाथ मंदिरों का सुंदरीकरण कर उसके प्रति पर्यटकों का आकर्षण बढ़ाना है। इतना ही नहीं महानिदेशालय ने इन गुरुद्वारों और मंदिरों को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने के लिए खाका भी भेजा था। खाका के आधार पर जब क्षेत्रीय कार्यालय की ओर से इस्टीमेट तैयार कर भेजा गया तो इस्टीमेट की जांच करने वाली कमेटी पीएफएडी ने कई चीजों के रेट पर सवाल उठाते हुए फिर से इस्टीमेट बनाने के लिए कहा है। ऐसे में क्षेत्रीय कार्यालय ने दोबारा इस्टीमेट तैयार कराया और बुधवार को शासन में संशोधित इस्टीमेट प्रस्तुत कर दिया गया। इस्टीमेट के अनुसार, साढ़े छह करोड़ रुपए से मुंजेश्वर नाथ मंदिर, ढाई करोड़ रुपए से मुक्तेश्वरनाथ मंदिर, पौने तीन करोड़ से सूर्यकुड धाम, 28 लाख से कालीबाड़ी मंदिर, पौने दो करोड़ से मोहद्दीपुर गुरुद्वारा और करीब डेढ़ करोड़ से जटाशंकर गुरुद्वारा को चमकाने का कार्य किया जाएगा। विभाग के मुताबिक, सप्ताह भीतर इस्टीमेट को मंजूरी मिल जाएगी। धनराशि की पहली किश्त के जारी होते ही सुंदरीकरण का कार्य शुरू करा दिया जाएगा। निर्माण की कार्यदायी संस्था जलनिगम होगी।

गुरुद्वारों और मंदिरों के प्रस्तावित कार्य

गुरुद्वारा मोहद्दीपुर - भव्य द्वार, गुरुद्वारे के पीछे पर्यटक विश्राम स्थल की जगह लिफ्ट के साथ तीन तल वाले भवन का निर्माण।

गुरुद्वारा जटाशंकर - भव्य द्वार, साइनेज, बेंच, लिफ्ट, 30 किलोवाट का सोलर पॉवर प्लांट, फोकस लाइट, भवन के बाहरी सतह का सुदृढ़ीकरण।

सूर्यकुंड धाम-घाट और सीढ़ी का सुंदरीकरण, बाउंड्रीवाल, बेंच, सोलर लाइट, हाईमास्ट, पर्यटन विश्राम स्थल का सुदृढ़ीकरण, पत्थर के स्तंभ, वाटर टेप, शौचालय, इंटरलॉकिंग व साइनेज।

कालीबाड़ी - पर्यटक विश्राम गृह, शौचालय, वाटर टैंक, वाटर कूलर।

मुंजेश्वर नाथ मंदिर - भव्य द्वार, साइनेज, बेंच, लिफ्ट, सोलर प्लांट, फोकस लाइट, भवन के बाहरी सतह का सुदृढ़ीकरण।

मुक्तेश्वर नाथ मंदिर - पर्यटक विश्राम स्थल, शौचालय, वाटर टेप, भव्य द्वार, इंटरलॉकिंग, पाथ-वे, बाउंड्रीवाल का सुदृढ़ीकरण, ड्रेनेज सिस्टम का दुरूस्तीकरण।

वर्जन

महानिदेशालय से मिले निर्देश के मुताबिक, दो गुरुद्वारों और चार मंदिरों के सुंदरीकरण का संशोधित इस्टीमेट शासन के समक्ष प्रस्तुत कर दिया गया है। इस्टीमेट को मंजूरी मिलने के बाद धनराशि मिलते कार्य शुरू करा दिया जाएगा।

रवींद्र कुमार मिश्रा, रीजनल टूरिज्म ऑफिसर