युकों बैंक लॉकर चोरी वारदात में एक-एक कर मददगार चढ़ रहे पुलिस के हत्थे

ALLAHABAD: यूको बैंक का लॉकर तोड़कर करोड़ों रुपये का सामान उड़ाने वाले चोरों को किराए पर मकान दिलाने वाले के साथ कई मददगार पहले ही पुलिस के राडार पर थे। सोमवार को किराए पर मकान दिलाने वाले के साथ मकान मालिक भी पकड़े गए। इस बीच अचानक शुरू हुई धरपकड़ का नतीजा ये निकला की गैंग के लिए खाना बनाने वाली और मददगार महिला ट्रेन से फरार हो गई। पुलिस भी ट्रेन की लोकेशन लेकर सड़क मार्ग से पीछे लगी है। पुलिस को खबर मिली है कि महिला लखनऊ में किसी रिश्तेदार के यहां शरण ले सकती है।

मकान मालिक को उठाया

सोमवार सुबह क्राइम ब्रांच और सिविल लाइंस पुलिस ने मकान मालिक अनीस और उसके बेटे जिम ट्रेनर एहतेशाम को उठाया। फिर उन्हें लेकर करेली पहुंची और एक मकान की घेराबंदी की। पुलिस को अरशद की तलाश थी, जिसने चोरों को किराए पर मकान दिलाने में मदद की थी। वहां से कुछ परिजनों व करीबियों को उठाया गया तो अरशद गिरफ्त में आ गया। अरशद के गिरफ्त में आने के बाद पुलिस ने सिलेंडर लाने वाले जीटीबी नगर निवासी आजाद को दबोचा। दोनों से पूछताछ की जा रही है।

भनक लगते ही हो गई फरार

पुलिस की छापेमारी चल ही रही थी कि करामत की चौकी इलाके में झुग्गी झोपड़ी में रहने वाली महिला एक युवक को साथ ले फरार हो गई। इसने चोरों के लिए खाना बनाया और मददगार की भूमिका निभाई थी। खबर मिलते ही पुलिस टीम ने स्टेशन पर घेराबंदी की, लेकिन ट्रेन यहां से रवाना हो चुकी थी। तब एक पुलिस टीम ट्रेन के पीछे रवाना की गई जो सड़क मार्ग से लोकेशन लेकर पीछे लगी है। इस बीच महिला से जुड़े लोगों पर सख्ती की गई तो पता चला कि वह लखनऊ में रिश्तेदार के यहां शरण ले सकती है। इसकी सूचना लखनऊ पुलिस को देकर टीम लगाई गई है।

पुरामुफ्ती में अशोक से खरीदा सिलेंडर

लॉकर काटने के लिए चोरों ने ऑक्सीजन सिलेंडर कौशांबी के पूरामुफ्ती कस्बा निवासी अशोक कुमार की दुकान से खरीदा था। करेली निवासी आजाद, अमजद और झारखंड का अकबर अशोक की दुकान पहुंचे थे। आजाद केमिस्ट की दुकान पर काम करता है और डॉक्टर के वेश में पहुंचा था। अकबर इलेक्ट्रीशियन का काम करता है। उसी ने बैंक में इलेक्ट्रिक व अन्य तारों को निकाला था।

कौशांबी में भी की वारदात

पुलिस अधिकारियों का दावा है कि पूछताछ में अभियुक्तों ने स्वीकार किया है कि कौशांबी के करारी स्थित सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया में हुई वारदात में भी इनका ही हाथ था। तब भी अशोक की दुकान से ही साढ़े आठ हजार रुपये में ऑक्सीजन सिलेंडर खरीदा गया था। हालांकि तब यूको बैंक की घटना का मास्टर माइंड हसन चिकना कौशांबी नहीं आया था, लेकिन गिरोह के सदस्यों ने कटर से करेंसी चेस्ट काटकर करीब 10 लाख रुपये उड़ाए थे।

सेंट्रल बैंक के बाद यूको बैंक

कौशांबी में सेंट्रल बैंक में चोरी के बाद ही इन लोगों ने इलाहाबाद में यूको बैंक को निशाना बनाने की प्लानिंग शुरू की। सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया में सितंबर 2017 में चोरी हुई थी। छानबीन में पता चला है कि चोरों ने प्लानिंग में पानी की तरह पैसा खर्च किया। पुरामुफ्ती से सिविल लाइंस तक सिलेंडर लाने के लिए उन्होंने ढाई लाख रुपये में अप्पे बुक किया। आजाद, अकबर और अमजद सिलेंडर लेकर आ रहे थे। रास्ते में पुलिस ने पूछताछ की तो बताया कि निजी अस्पताल ले जा रहे हैं।

महिला ट्रेन से भागी है, उसकी लोकेशन ट्रेस कर तलाश में टीम रवाना की गई है। अन्य कई मददगार भी पुलिस की गिरफ्त में हैं और उनसे कड़ाई से पूछताछ चल रही है।

आकाश कुलहरि, एसएसपी